राजनीतिक जानकारों की माने तो भाजपा ने एक बार फिर राम बाण चलाने की कोशिश की है। पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव को लेकर भाजपा किसी भी कीमत पर कोई कमी नहीं छोड़ना चाहती। खास तौर पर मध्यप्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़ में भाजपा को अपनी स्थिति डांवाडोल लग रही है यही वजह है कि एक बार फिर भाजपा राममंदिर की नाव से चुनावी समुद्र को पार करना चाहती है।
2014 में बड़े बहुमत के साथ केंद्र में सरकार बनाने वाली भाजपा के सांसदों की संख्या लगातार कम हो रही है। 2014 के लोकसभा चुनाव के बाद से अभी तक 30 लोकसभा सीटों पर उपचुनाव हुए हैं। उपचुनावों में लगातार सीटें गँवा रही बीजेपी की संख्या संसद में 282 से घटकर 278 तक पहुंच गयी। वहीँ अब लद्दाख से बीजेपी सांसद थुपस्तान छवांग ने सदन और पार्टी से इस्तीफा दे दिया है।