अल्पकालिक उपग्रहों को कक्षा में भेज चुका है गौरतलब है कि ईरान ने बैलिस्टिक मिसाइल कार्यक्रम में सहयोग के लिए अमरीका की आलोचना के बावजूद एक उपग्रह को कक्षा में भेजने की योजना बनाई थी। जनवरी में देश ने एक उपग्रह का प्रक्षेपण भी किया था। हालांकि, वह तीसरे चरण में आवश्यक गति तक पहुंचने में विफल रहा। ईरान अंतरिक्ष कार्यक्रम के तहत बीते एक दशक में कई अल्पकालिक उपग्रहों को कक्षा में भेज चुका है। वर्ष 2013 में एक बंदर को भी अंतरिक्ष में भेजा गया था। ईरान के अनुसार उसने दो गैर-सैन्य उपग्रहों,पायम और दोओस्ती को कक्षा में भेजने की योजना बनाई है।
स्पेस टेक्नोलॉजी को आगे बढ़ाने की कोशिश ईरान के रक्षा मंत्री अमीर हातमी के अनुसार वह अपनी स्पेस टेक्नोलॉजी को आगे बढ़ाने की कोशिश कर रहा है। उन्होंने कहा कि देश अपनी इस तरह की तकनीक का उपयोग सैन्य ताकत बढ़ाने की बजाय, विज्ञान क्षेत्र में नए अविष्कार कर रहा है। वह परमाणु हथियारों की होड़ में नहीं है। तेहरान के अनुसार वह यूएस के समझौते पर अब भी कायम है।