patrika impact- कबीर प्राकट्य स्थल, लहरतार तालाब को दुरुस्त कराएंगे कमिश्नर
कमिश्नर का आश्वासन, शीघ्र होगी कार्रवाई, पत्रिका ने सुबह ही चलाई थी खबर,,,
वाराणसी. संत कबीर के प्राकट्य स्थल लहरतारा ताल की दुर्दशा की खबर पत्रिका पर चलते ही स्वयंसेवी संस्थाओं और स्थानीय नागरिकों ने लिया संज्ञान, मिले कमिश्नर नितिन रमेश गोकर्ण से। बताई कबीर प्राकट्य स्थल की दुर्दशा। कैसे कोर्ट के आदेश को नजरंदाज कर रहा प्रशासन वह भी 12 साल से। कमिश्नर ने लिया संज्ञान, दिया आश्वासन,कहा शीघ्र होगी कार्रवाई।
कोर्ट के आदेश के बाद यह हुआ था तय
संत कबीर प्राकट्य स्थल लहरतारा तालाब को अतिक्रमण मुक्त करने के लिए अगस्त 2003 में उच्च न्यायालय ने दिया था आदेश। कोर्ट के आदेश का अनुपालन कराने के लिए सामाजिक कार्यकर्ताओं और तालाब के निकट के बाशिंदों का एक प्रतिनिधिमंडल सोमवार को मंडलायुक्त नितिन रमेश गोकर्ण से मिला और उन्हें अवगत कराया कि मानवाधिकार जन निगरानी समिति के संयोजक,डा. लेनिन रघुवंशी के दायर रिट पेटीशन संख्या 36648 वर्ष 2003 पर उच्च न्यायालय ने 25 अगस्त 2003 को स्थानीय कमिश्नर को समुचित कार्वाई का निर्देश दिया था। उस पर अमल करते हुए तत्कालीन मंडलायुक्त सी एन दुबे ने 15 सितंबर.2004 को कबीर जन्मस्थली पर स्थित तालाब को पूरी तरह से अतिक्रमण मुक्त कर उसके चारो और दुर्गाकुंड तालाब की भांति चहारदीवारी व सीढ़ी बनाने, प्रकाश व्यवस्था करने का आदेश जिला प्रशासन, नगर निगम और विकास प्राधिकरण को दिया था। लेकिन उक्त आदेश पिछले 12 वर्षों से ठंढे बस्ते में पड़ा है और तालाब दुर्दशाग्रस्त हो चुका है। मंडलायुक्त महोदय ने मामले को गम्भीरता से लिया और शीघ्र कार्यवाही का आश्वासन दिया।