सदर कोतवाली क्षेत्र के शेखपुर का मामला सदर कोतवाली क्षेत्र के शेखपुर में फार्म बनाकर राजेंद्र कौर पत्नी त्रिलोचन जूते का अपर बनाने का काम श्रमिकों से करवाती थी। लगभग 15 श्रमिकों के साथ वह यह व्यवसाय करती थी। जिस कार्य के लिए कानपुर की जी स्क्वायर सिक्योरिटी सर्विस से सुरक्षा गार्ड लिया था। पुलिस अधीक्षक हरीश कुमार ने बताया कि त्रिलोचन सिंह के साथ घटना वाले दिन देर रात तक हुई बातचीत के आधार पर स्वाट टीम को मामले के खुलासे के लिए लगाया गया। स्वाट टीम ने सुरक्षा गार्ड अमित त्रिवेदी पुत्र घनश्याम त्रिवेदी निवासी थाना खागा जनपद फतेहपुर को गिरफ्तार कर पूछताछ करने पर मामले का खुलासा हुआ। पूछताछ के दौरान अमित त्रिवेदी ने बताया कि उसने रात के अंधेरे में राजेंद्र कौर के ऊपर हथौड़ी से हमला कर दिया। जिससे वह नीचे गिर गई। ताबड़तोड़ हमला बोलकर राजेंद्र कौर की हत्या कर दी। जिसके बाद निर्दयता से हाथ में पहने कड़े को निकाला। इसके साथ ही अंगूठी व घर में रखे ₹14 हजार को भी अपने साथ ले गया।
Rs. 69 हजार कमाए Rs.70 हजार जुए में गवां दिया अमित त्रिवेदी ने साक्ष्यों को मिटाने के लिए कानपुर स्थित अपने कमरे में गया और खून से सनी शर्ट बदलकर रात में अपने गांव का उकाथू थाना खागा फतेहपुर चला गया। जहां सुनार को लूट का माल देकर Rs. 69000 लिए। पुलिस अधीक्षक ने कहा कि लूट की कमाई बहुत कम लोगों को फलती है। लूट का माल बेचने के बाद मिले Rs. 69 हजार को अमित त्रिवेदी खागा रेलवे स्टेशन के पास हो रहे जुए के फड़ ने हार गया।
साक्ष्यों को मिटाने के लिए किया तमाम उपाय इसके पहले अमित त्रिवेदी ने मृतका के दोनों फोन अपने साथ ले गया। जिसके सिम निकालकर बड़ी चालाकी से कानपुर के मंगला विहार के अपने किराए के मकान के निकट दो दीवारों के बीच तोड़ कर फेंक दिया और मोबाइल को नाले में फेंक दिया। जिससे कि सारे साक्ष्य नष्ट हो जाएं। लेकिन स्वाट टीम में विवेचना के दौरान सारे साक्ष्य व लूट का सामान बरामद कर लिया है। पुलिस अधीक्षक हरीश कुमार के खुलासे के दौरान रजिंदर कौर के पति सुलोचन सिंह, युवा समाजसेवी अजीत पाल सिंह आदि मौजूद थे। जिन्होंने 48 घंटे के अंदर किए गए खुलासे पर पुलिस को धन्यवाद दिया। इस मौके पर त्रिलोचन सिंह ने कहा कि हत्यारे को कड़ी से कड़ी सजा मिलनी चाहिए।