सागर जिले की स्थिति
यहां पर भाजपा के शैंलेंद्र जैन और कांग्रेस के नैवी जैन में सीधी मुकाबला है लेकिन आप से इंद्र विक्रम सिंह, सपा से जगदीश यादव, बसपा से संतोष प्रजापति और निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में डॉ. अंकलेश्वर दुबे प्रमुख दलों का समीकरण बिगाडऩे का माद्दा रखते हैं। २०१३ विस चुनाव में इसके ठीक विपरीत स्थिति थी जिसमें सीधा मुकाबला भाजपा व कांग्रेस के बीच रहा था। जिले की अन्य सात विधानसभाओं में
दोनों प्रमुख दलों के लिए ही जंग छिड़ी हुई है।
टीकमगढ़ जिले के हाल-
जतारा
कांग्रेस से बागी हुए विधायक दिनेश अहिरवार निर्दलीय रूप से मैदान में है। भाजपा से बागी अनीता प्रभुदयाल खटीक सपा से किस्मत आजमा रहीं हैं। भाजपा ने यहां से पूर्व मंत्री हरिशंकर खटीक को उम्मीदवार बनाया है तो कांग्रेस ने लोक तांत्रिक जनता दल के प्रत्याशी विक्रम चौधरी को अपना समर्थन दिया है।
पृथ्वीपुर
इस बार भी यहां त्रिकोणीय मुकाबला दिखाई दे रहा है। कांग्रेस के बृजेन्द्र सिंह राठौर, भाजपा के अभय प्रताप सिंह यादव और सपा से शिशुपाल यादव के बीच सीधा मुकाबला है।
निवाड़ी
भाजपा विधायक अनिल जैन और कांग्रेस के सुरेन्द्र यादव के बीच मुकाबला है। सपा ने मीरा यादव को मैदान में उतारकर समीकरण पेंचीदा कर दिए हैं।
खरगापुर
भाजपा से बागी हुए पूर्व विधायक अजय यादव इस बार बसपा के हाथी पर सवार हो गए हैं। वहीं भाजपा से उमा भारती के भतीजे राहुल सिंह लोधी मैदान में है, तो कांग्रेस से निर्वतमान विधायक चंदा सिंह गौर चुनाव लड़ रही हैं। बसपा से चुनाव लड़ रहे अजय यादव भी यहां पर प्रमुख दलों का गणित बिगाड़ सकते हैं।
छतरपुर जिला –
बिजावर: भाजपा से पुष्पेंद्र नाथ पाठक, कांग्रेस से शंकर प्रताप सिंह और सपा के राजेश शुक्ला के बीच मुकाबला है। तीनों प्रत्याशी एक-दूसरे का समीकरण बिगाडऩे के लिए पुरजोर तरीके से मैदान में हैं।
महाराजपुर: भाजपा के मानवेंद्र सिंह, कांग्रेस के विनोद दीक्षित और बसपा के राजेश मेंहतो के बीच त्रिकोणीय मुकाबला है। विकास के नाम पर चुनाव लड़ा रहा है लेकिन जनता के बीच पहुंचकर प्रत्याशी अपने आपको स्थापित नहीं कर पा रहे हैं।
राजनगर विस: भाजपा के अरविंद पटैरिया, कुंवर विक्रम सिंह नाती राजा और सपा के प्रत्याशी नितिन चतुर्वेदी के बीच कड़ा मुकाबला है।