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खरगोन

समर्थन खरीदी में गेहूं और चना की बोनस राशि का नहीं हुआ भुगतान

गेहूं व चना खरीदी के बदले नहीं हुआ बोनस राशि का भुगतान, सरकार की वादाखिलाफी से किसानों में आक्रोश
प्रदेश स्तर पर आंदोलन की तैयारी, 28 अगस्त को होगी किसान

खरगोनAug 25, 2019 / 04:30 pm

Jay Sharma

Support price purchase in khargone

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खरगोन. गेहूं व चने की सरकारी खरीदी के बदले बोनस राशि का भुगतान नहीं किया गया। इससे किसानों में रौष पनप रहा है। राज्य सरकार पर वादा खिलाफी का आरोप लगाते हुए बड़े आंदोलन की तैयारी चल रही है। भाकिसं का कहना है कि सरकार ने किसानों को लेकर जो भी घोषणाएं की है, वह पूरी नहीं हुई। कर्ज माफी की तरह ही गेहूं व चने पर बोनस राशि का लाभ नहीं दिया। पिछले करीब पांच महीने से किसान इस इंतजार में है कि उनके खाते में राशि जमा होगी। कब, यह किसी को पता नहीं। सरकार की माली हालत खराब होने के कारण यह पैसा अटका हुआ है। उल्लेखनीय है कि राज्य सरकार ने गेहूं पर 160 रुपए और चने पर सौ रुपए प्रति क्विंटल बोनस देने की घोषणा की थी। इसका लाभ पंजीकृत किसानों को मंडी में उपज बेचने पर भी देने का ऐलान किया गया था। प्रदेश सहित खरगोन जिले में भी 30 हजार से अधिक किसानों को राशि मिलने का इंतजार है। पिछली सरकार में किसानों को बोनस राशि मई महीने में मिल गई थी। किंतु इस वर्ष भुगतान में लेटलाली हो रही है।
14 करोड़ के लगभग भुगतान शेष
जिले में 25 मार्च से 25 मई के बीच गेहूं की खरीदी हुई थी। सरकारी केंद्रों पर 14582 किसानों से 83 हजार 288 मीट्रिक टन गेहूं खरीदा गया था। विभागीय अधिकारियों से प्राप्त जानकारी के अनुसार प्रति क्विंटल 160 रुपए बोनस के हिसाब से गेहूं पर लगभग 13,32,60,800 रुपए का भुगतान किसानों को किया जाना था, जो नहीं हुआ। इसी तरह 5000 मीट्रिक टन चने की खरीदी 50 लाख बोनस राशि का भुगतान नहीं हो सका।
मंडियों में कम दर पर बिक्री, अब भाव में इजाफा
सरकार की घोषणा के अनुसार किसानों ने मंडियों में भी सीधे उपज बेची है। उन्हें भी गेहूं बेचने पर बोनस का भुगतान होना था। लेकिन यह राशि अभी तक नहीं मिली। किसानों को डर है कि भावांतर योजना की तरह बोनस राशि को भी सरकार भूला न दें। मालूम हो कि पिछली सरकार ने मक्का व सोयाबीन पर 500 रुपए प्रति क्विंटल फ्लेटरेट पर खरीदी की घोषणा की थी। इसमें मक्का पर ही 250 रुपए बोनस मिला। शेष राशि का भुगतान आज तक नहीं हो सका। इसके विपरित उपज के दाम बढऩे का फायदा व्यापारियों के हाथ लग गया।

कृषि मंत्री के जिले से उठ रहे विरोध के स्वर
किसानों से जुड़े विभाग के प्रमुख कृषि मंत्री सचिन यादव है। जिनके जिले से ही विरोध के स्वर उठ रहे हैं। 28 अगस्त को जिला मुख्यालय पर किसान संघ की बैठक आहूत की गई। संघ जिलाध्यक्ष श्याम पंवार ने कहा कि कांग्रेस ने किसानोंं से झूठ बोलकर सरकार बना ली, लेकिन वादा पूरा नहीं हुआ। कर्ज माफी सहित गेहूं, चना और प्याज पर बोनस के भुगतान की मांग की जाएगी। मांगे नहीं पूरी होने पर संघ तहसील, जिला मुख्यालय और प्रदेश स्तर पर उग्र आंदोलन किया जाएगा।
फैक्ट फाइल
-83 हजार 288 मीट्रिक टन गेहूं की हुई थी खरीदी
-13 करोड़ 32 लाख 60 हजार 800 रुपए होता है बोनस
-5000 मीट्रिक टन चने की खरीदी
-50 लाख बोनस राशि भुगतान का इंतजार

प्रस्ताव भेजा है…
गेहूं और चना खरीदी पूर्ण होने के बाद शासन से रिपोर्ट मांगी थी, जो भेजी गई है। अभी बोनस राशि का आवंटन नहीं मिला है। प्रस्ताव बनाकर भेजा है।
एमएल चौहान, उप संचालक कृषि विभाग खरगोन

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