मंदिर महंत लोकेश मिश्रा ने बताया कि यह सबसे प्राचीन श्याम मंदिर हैं। यहां श्याम जन्मोत्सव का आयोजन किया गया है। सुबह श्याम प्रभु का अभिषेक कर नवीन पोशाक धारण करवाई गई। श्याम बाबा के छप्पन भोग लगाया गया। इस मौके पर महिला भक्तों की ओर से भजन-सत्संग में श्याम प्रभु का गुणगान किया गया। वहीं बच्चों ने केक काट प्रभु जन्म की खुशियां बांटी। इसके बाद शाम को महिला मंडली खाटू के लिए रवाना हुई, जहां श्याम जन्मोत्सव में शामिल हुई।