याची ने कहा कि चीन और पाकिस्तान में भी ऑनलाइन दवा बिक्री पर प्रतिबंध है। इस पद्धति से उपलब्ध दवाओं से जान का भी खतरा है। लिहाजा इस तरह की बिक्री को अवैध करार करते हुए जब तक मामले का निपटारा नहीं हो जाता तब तक ऑनलाइन बिक्री पर अंतरिम रोक लगाई जानी चाहिए।
३१ अक्टूबर को हुई सुनवाई में न्यायाधीश आर. महादेवन ने ऑनलाइन बिक्री पर अंतरिम रोक लगा दी थी। साथ ही केंद्रीय व राज्य के स्वास्थ्य विभाग को दो सप्ताह के भीतर जवाब देने का नोटिस जारी किया था।
राज्य सरकार ने जवाबी शपथपत्र में कहा कि हाईकोर्ट के पास ऑनलाइन दवा बिक्री पर रोक लगाने का अधिकार नहीं है। यह अधिकार केंद्र सरकार के पास है। सरकार के शपथ पत्र के बाद हाईकोर्ट ने केंद्र सरकार से जवाब मांगते हुए याचिका पर सुनवाई ५ दिसम्बर के लिए टाल दी।
ग्रामीणों को दिया निलवेम्बू काढ़ा
वेलूर. यहां आरणी स्थित देवसेना बालसुब्रमणि मुरुगन मंदिर के परिसर में सोमवार को वेलूर मुत्तारयार संघ एवं श्री पुट्ररू महर्षि आयुर्वेदिक सेर्वा ेसंगठन की ओर से ग्रामीणों को डेंगू बुखार से बचाव के लिए निलवेम्बू काढ़ा प्रदान किया गया। संगठन अध्यक्ष डा. के.पी. अर्जुनन के नेतृत्व में सदस्यों ने करीब 500 लोगों को निलवेम्बू काढ़ा प्रदान किया। इस अवसर पर वेद वासु, राजा, वेद गोपीनाथ भी उपस्थित थे।