जिससे मौसम खुश-मिजाज हो गया और लोगों को कुछ हद तक कर्मी से राहत मिली। मौसम विभाग के विशेषज्ञों के अनुसार बंगाल की खाड़ी में मानसून सक्रिय होने से झारखंड, छत्तीसगढ़, उत्तर-पूर्वी मध्यप्रदेश और मध्य महाराष्ट्र में कम दबाव का चक्रवात बना है, बारिश की संभावना बढ़ गई है।
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शहर मेंं बुधवार को 40.4 मिमी बारिश दर्ज की गई। मंगलवार रात भी कई क्षेत्र पानी से तरबतर हुए, लेकिन मौसम विज्ञान केन्द्र के अधारताल क्षेत्र में बारिश न होने के कारण रिकॉर्ड में बारिश दर्ज नहीं हुई। मानसून सीजन अब तक 905.3 मिमी (35.64 इंच) बारिश हुई है। जिले में बारिश का सालाना औसत बारिश ५5 इंच है। पिछले साल २० सितम्बर तक १४२५.५ मिमी बारिश हुई थी। उधर बारिश के चलते तापमान में गिरावट आई है। दिन का अधिकतम तापमान सामान्य से दो डिग्री कम २९.९ और न्यूनतम तापमान सामान्य से एक डिग्री कम २४.४ दर्ज किया गया। उत्तरी हवा औसत से दो किमी प्रति घंटा रही। अगर यह हवा एेसे ही चलती रही तो नमी के साथ बारिश की संभावना बढ़ेगी।