आयुर्वेद संकाय की शोध छात्रा ने विभागीय प्रोफेसर व अपने रिसर्च गाइड पर उस वक्त रिपोर्ट की है जब समूचा विश्वविद्यालय दीक्षांत समारोह में व्यस्त था। कोलकाता की मूल निवासी छात्रा का आरोप है कि शोध के दौरान रिसर्च गाइड ने उसके साथ न केवल अपशब्दों का इस्तेमाल किया बल्कि यौन शोषण का भी प्रयास किया। छात्रा ने कहा है कि जून 2015 में महिला शिकायत प्रकोष्ठ के समक्ष शिकायत की थी। लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की गई। पीड़ित छात्रा के अनुसार शोध के दौरान प्रोफेसर ने उसके बारे में भ्रामक और अपमानजनक बातें ही नहीं की बल्कि शैक्षणिक सत्र को भी प्रभावित करने की कोशिश की।
शोध के दौरान वह अपने कैरियर को बचाने के लिए खामोश रही। हालांकि 27 अप्रैल 2018 को अस्थाई प्रमाण पत्र मिलने के बाद में बीएचयू प्रशासन से शिकायत की थी। लेकिन इस पर कोई कर्रवाई नहीं हुई। ऐसे में विश्वविद्यालय के सौवें दीक्षांत समारोह के मौके पर डिग्री लेने अमेरिका के न्यूयार्क से वाराणसी आई छात्रा ने डिग्री लेने के बाद गुरुवार को लंका थाने में प्रोफेसर के विरुद्ध तहरीर दी है। इसकी पुष्टि लंका थाना प्रभारी ने भी करते हैं।
शोध के दौरान वह अपने कैरियर को बचाने के लिए खामोश रही। हालांकि 27 अप्रैल 2018 को अस्थाई प्रमाण पत्र मिलने के बाद में बीएचयू प्रशासन से शिकायत की थी। लेकिन इस पर कोई कर्रवाई नहीं हुई। ऐसे में विश्वविद्यालय के सौवें दीक्षांत समारोह के मौके पर डिग्री लेने अमेरिका के न्यूयार्क से वाराणसी आई छात्रा ने डिग्री लेने के बाद गुरुवार को लंका थाने में प्रोफेसर के विरुद्ध तहरीर दी है। इसकी पुष्टि लंका थाना प्रभारी ने भी करते हैं।
बता दें कि अभी अक्टूबर में ही जंतु विज्ञान विभाग के एक प्रोफेसर पर छात्राओं संग छेड़छाड़ का मामला सामने आया था। उस प्रकरण की गंभीरता के मद्देनजर कुलपति प्रो राकेश भटनागर ने तत्काल जांच शुरू कराई और जांच जारी रहने तक प्रोफेसर को निलंबित भी कर दिया। यह जांच अभी जारी है। यहां यह भी बता दें कि इस मामले में जंतु विज्ञान विभाग के छात्रों ने भी छात्राओं संग मिल कर प्रोफेसर के विरुद्ध गवाई दी है।