उज्जैन. विक्रम विश्वविद्यालय में अधिकारियों की मनमानी का नया मामला उजागर हुआ है। विवि अधिकारियों ने परीक्षा के दो दिन पूर्व नियम विरुद्ध तरीके से ऑनलाइन लिंक ओपन कर फॉर्म जमा करवा लिए और परीक्षा भी करवा ली। यही नहीं, गजब तो तब हुआ जब परीक्षा में शामिल एक विद्यार्थी विवेक अग्रवाल ने ही कह दिया कि उसकी उपस्थिति कम है। मुझे आगामी परीक्षा में शामिल किया जाए। मामला पुस्तकालय एवं सूचना विज्ञान पीएचडी कोर्स वर्क परीक्षा का है।
फॉर्म क्लास में उपस्थिति कम
परीक्षा मार्च 2016 में आयोजित हुई। विभागाध्यक्ष ने 5 विद्यार्थियों के परीक्षा फॉर्म क्लास में उपस्थिति कम होने के रोक दिए गए। परीक्षा के दो दिन पूर्व विभागाध्यक्ष सोनल सिंह अवकाश पर चलीं गई। इसी बीच विवि अधिकारियों ने परीक्षा फॉर्म की लिंक ओपन कर सभी विद्यार्थियों के फॉर्म जमा करवा दिए और परीक्षा में शामिल करवा दिया।
सवालों के घेरे में विवि अधिकारी
विक्रम विवि कुलपति प्रो. शीलसिंधु पाण्डे परीक्षा कार्यक्रम के लिए जारी अधिसूचना की तारीखों को बढ़ाने के पक्ष में नहीं रहते हैं, लेकिन कुछ दिन पूर्व बीएससी नर्सिंग की एक छात्रा का परीक्षा के लिए ऑनलाइन लिंक आेपन कर फॉर्म जमा करवा लिया। इस मामले पर कर्मचारियों को दोषी बताया। हालांकि कोई कार्रवाई नहीं हुई। अब एक बार फिर नया मामला उजागर हो गया है।
विभागाध्यक्ष ने लिखा – नौकरी पर है विद्यार्थी
विभागाध्यक्ष सोनल सिंह ने 5 मार्च 2016 को नोडल ऑफिसर और कुलपति को पत्र लिखा। इसमें पांच विद्यार्थी डॉ. विवेक अग्रवाल नागदा कॉलेज, संजीव सिंह निजी कंपनी नई दिल्ली, राधा शुक्ला श्यामगढ़ कॉलेज, अजीत कुमार प्रजापति एनआईएफटी गुजरात, अभिषेक सिंह राजपूत नई दिल्ली में सर्विस कर रहे हैं। पीएचडी कोर्स वर्क की क्लास में नियमित रहना चाहिए। यह सब बिना अवकाश लिए पीएचडी कर रहे हैं।
यह है मामला
पुस्तकालय एवं सूचना विज्ञान पीएचडी कोर्स वर्क परीक्षा के पांच विद्यार्थियों के परीक्षा फॉर्म विभागाध्यक्ष सोनल सिंह ने निरस्त कर दिए। वह 14 और 15 मार्च 2016 को अवकाश पर रही। इस दौरान प्रभारी विभागाध्यक्ष ने परीक्षा फॉर्म जमा करने के लिए आवेदन किया। विवि अधिकारियों ने लिंक ओपन कर फॉर्म जमा करवा दिए। परीक्षा फॉर्म जमा करने की अधिसूचना में स्पष्ट है कि परीक्षा शुरू होने के दिनांक के 5 दिन पूर्व ही फॉर्म जमा करवाए जाने का नियम है।
लिंक नियमानुसार खोली गई
उक्त प्रकरण की फाइल विभागाध्यक्ष के पास गई है। निर्णय नहीं हुआ है। लिंक नियमानुसार खोली गई है।
-शैलेंद्र कुमार शर्मा, विवि कुलानुशासक
अन्य विद्यार्थी भी तो क्लास में नहीं आए
अन्य विद्यार्थी भी क्लास में नहीं आए। इसी आधार पर मैंने आवेदन बढ़ाया। अनुमति की प्रक्रिया हुई। इसी बाद लिंक ओपन हुई।
अनिल जैन, रीडर
Hindi News/ Ujjain / विद्यार्थी खुद माना मैं क्लास में नहीं आया, अधिकारी ने भरवा दिए परीक्षा फार्म