scriptआखिर नगरपालिका को क्यों तुड़वाना पड़ी अपनी एफडी | After all, why the municipality has to frustrate its FD | Patrika News

आखिर नगरपालिका को क्यों तुड़वाना पड़ी अपनी एफडी

locationउज्जैनPublished: Jan 23, 2019 12:16:32 am

Submitted by:

Lalit Saxena

प्रदेश सरकार से हर माह नगरपालिका को मिलने वाली राशि में भारी कटौती की गई है। इस कटौती के कारण नगरपालिका को कर्मचारियों को तनख्वाह देने के लिए एफडी तुड़वाना पड़ी।

patrika

प्रदेश सरकार से हर माह नगरपालिका को मिलने वाली राशि में भारी कटौती की गई है। इस कटौती के कारण नगरपालिका को कर्मचारियों को तनख्वाह देने के लिए एफडी तुड़वाना पड़ी।

नागदा. प्रदेश सरकार से हर माह अलग-अलग मद में नगरपालिका को मिलने वाली राशि में भारी कटौती की गई है। इस कटौती के कारण नगरपालिका को कर्मचारियों को तनख्वाह देने के लिए एफडी तुड़वाना पड़ी।
नपाध्यक्ष अशोक मालवीय ने कहा है यदि शासन से मिलने वाली राशि में यदि इस तरह से कटौती की गई तो नपा की माली हालात खराब हो सकती है। आने वाले समय में कर्मचारियों को तनख्वाह तक देने में परेशानी हो सकती है।
नपाध्यक्ष की मानें तो हर माह चूंगी क्षर्तिपूर्ति के रूप में 70-80 लाख रुपए मिलते हैं, लेकिन चार माह में महज 50 लाख रुपए ही मिले। इसी तरह मूलभूत की राशि के रूप में नगरपालिका को हर तीन माह में एक करोड़ मिलते थे, लेकिन चार माह गुजर जाने के बाद भी यह राशि नहीं मिली। 14वें वित्त की मद में नगरपालिका के खाते में दिसंबर के अंत तक या जनवरी की शुरुआत तक में करीब सवा करोड़ की राशि आती है, लेकिन इस साल अभी तक ये राशि नहीं आई। कुल मिलाकर चार माह में नपा के खाते में महज 50 लाख रुपए ही आए हैं।
हो सकती है माली हालत खराब
नपाध्यक्ष ने बताया कि यदि हालात ऐसे ही रहें और शासन से मिलने वाली राशि इस तरह से न के बराबर मिली तो आने वाले कुछ महीनों में ही नपा की माली हालत खराब हो सकती है। इसका सीधा असर शहर पर पड़ेगा। हालांकि अभी तक तो नगरपालिका ने शहर में चलने वाले सभी विकास कार्यों को भी पूरी तरह जारी रख रखा है, लेकिन शासन से मिलने वाली राशि के नहीं मिलने के कारण असर कहीं न कहीं खजाने पर ही आएगा।
60-70 लाख बंटते हैं तनख्वाह में
नगरपालिका में कार्यरत कर्मचारियों की तनख्वाह प्रतिमाह 60 से 70 लाख रुपए बंटती है। ये अपने आप में बड़ी राशि है। इसके साथ ही डीजल, सहित अन्य रूटीन का खर्च भी अब तक नपा चूंगी क्षतिपूर्ति की राशि से पूरा कर लिया करती थी, लेकिन इसके नहीं मिलने के कारण एफडी तुड़वाकर कर्मचारियों को तनख्वाह देना पड़ी है। भविष्य में भी यदि नपा की माली हालत खराब होती है तो खमियाजा कर्मचारियों को भी भुगतना पड़ सकता है।
आम बजट पर भी पड़ेगा असर
नगरपालिका जल्दी ही बजट पेश करने वाली है। यदि माली हालत ऐसी रही और शासन से मिलने वाली राशि में इस कमी को आधार बनाकर नगर सरकार ने बजट बनाकर पेश किया तो इसका असर आने वाले पूरे साल में शहर विकास व शहर में होने वाले सांस्कृतिक आयोजनों सहित नपा द्वारा किए जाने वाले प्रत्येक कार्य पर पड़ सकता है।
कम राशि मिली है
यह सही है कि चार माह में नपा के खाते में महज 50 लाख ही आए हैं। यदि शासन से मिलने वाले रुपयों में इसी तरह से कटौती होती रही तो आने वाले समय में नगरपालिका की आर्थिक स्थिति पर इसका बुरा प्रभाव नजर आएगा। अभी भी हमने कर्मचारियों को एफड़ी तुड़वाकर का भुगतान किया है।
अशोक मालवीय, नपाध्यक्ष, नागदा

loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो