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धर्म गुरु बोले गृहस्थी, साधु और सन्यासी सबको चाहिए ‘माया

locationउदयपुरPublished: Jan 14, 2019 01:24:01 am

Submitted by:

Sushil Kumar Singh

भगवान की बाल लीला सुन भावुक हुए श्रोता, भागवत कथा के छठे दिन जुटे धर्मप्रेमी

udaipur

धर्म गुरु बोले गृहस्थी, साधु और सन्यासी सबको चाहिए ‘माया

उदयपुर. भगवान कृष्ण मथुरा में आए। फिर गोकुल गए। योगमाया गोकुल में आई फिर मथुरा गई। कृष्ण आए तो मथुरा में योगमाया ने सबको सुला दिया। भगवान का बचपना था, लेकिन माया आसुरी प्रवृत्ति वाले को प्रिय लगती है। दूसरी ओर भगवान कृष्ण आनंद स्वरूप हैं, जो भक्तों को गोकुल में जगाता है। माया को छोडऩे की बात तो सब कहते हैं, लेकिन माया तो मां की तरह है, जो हर व्यक्ति की सहायता करती है। गृहस्थी, साधु और सन्यासी सबकों कहीं ने कहीं, किसी न किसी रूप में जरूरत होती है। माखन चोरी लीला का वर्णन करते हुए पुष्कर दास महाराज ने सभी श्रोताओं को भावुक कर दिया। दुर्गा पार्क, प्रभात नगर हिरण मगरी सेक्टर ५ में आयोजित भागवत कथा को संबोधित करते हुए महाराज ने कहा कि कृष्ण ने गोपियों के कोमल मन रूपी मक्खन को चुराया है। दूध के मक्खन वाली बात तो प्रतीकात्मक है। कृष्ण ने तो दिखावटी मटकी फोड़ी थी। हकीकत तो यह है कि जिस जीवात्मा के सिर पर अहंकार रूपी पाप की मटकी थी। कृष्ण ने उसका अंत किया था। चीरहरण लीला में साड़ी, कपड़े का चीर नहीं बल्कि वासना का चीरहरण हुआ था। इस मौके पर कार्यक्रम स्थल पर आकर्षक गिरिराज पूजन, गोवद्र्धन की झांकी सजताई गई। संयोजक वि_ल वैष्णव ने बताया कि सोमवार दोपहर एक बजे कथा की पूर्णाहुति होगी। मंगलवार को सत्यनारायण भगवान की कथा होगी।

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