राजस्थान विद्यापीठ करेगा स्कूल ऑफ ट्राइबल स्टडीज एंड रिसर्च म्यूजियम की स्थापना
जनजाति क्षेत्र में शोध को बढ़ावा देने पर जोर, रिसर्च बोर्ड की बैठक में हुए महत्वपूर्ण निर्णय
राजस्थान विद्यापीठ करेगा स्कूल ऑफ ट्राइबल स्टडीज एंड रिसर्च म्यूजियम की स्थापना
उदयपुर. जनार्दनराय नागर राजस्थान विद्यापीठ डीम्ड टू बी विश्वविद्यालय में शोध के लिए विशेष फण्ड योजना बनाई गई। इस योजना से छात्रों एवं शोधार्थियों का भी लाभ मिलेगा। दीक्षांत समारोह मार्च के दूसरे सप्ताह में आयोजित होगा। यह बात मंगलवार को कुलपति प्रो. एसएस सारंगदेवोत ने रिसर्च बोर्ड की बैठक में अध्यक्षता करते हुए कही। कहा कि 23 फरवरी को मुम्बई में प्रस्तावित समारोह में मुम्बई के वरिष्ठ अधिवक्ता बुर्जोर होरमुस एंटिवा को डी लिट की उपाधि दी जाएगी। साथ विवि स्तर पर आदिवासी क्षेत्रों में शोध कार्यों को बढ़ावा देने के लिए स्कूल ऑफ ट्राइबल स्टडीज एंड रिसर्च म्यूजियम स्थापित होगा।
विवि में डाटा संकलन एवं व्यवस्थिकरण के लिए अलग से डाटा एण्ड इन्फोरमेशन की स्थापना होगी। पीजी डीन जीएम मेहता ने बताया कि 09 मार्च 18 से 19़ फरवरी 19 तक प्रदत्त विद्यापीठ के विभिन्न विषयों में पीएचडी उपाधि प्रदान किए जाने वाले शोधार्थियों की उत्तर स्वीकृति बैठक में ली गई। विद्यापीठ के शोध निदेशक के अधीन अधिकतम पंजीकृत शोधार्थियों पर विचार होगा, जिसके अन्तर्गत आचार्य के पास अधिकतम 10, सह आचार्य के पास 08 व सहायक आचार्य के पास 03 शोधार्थियों की संख्या होगी। स्थायी फैकल्टी ही गाइड बन सकेंगे।
पीएचडी कोर्स वर्ग
शोधार्थियों का कोर्स वर्ग मई के अंतिम सप्ताह में आयोजित हेागा। अब पीएचडी शोधार्थियों के शोध कार्य की प्रगति रिपोर्ट हर तीन माह में अकादमिक सदस्यों के समक्ष समीक्षा करनी होगी। प्रत्येक अकादमिक सदस्य कम से कम दो छात्रों को विद्यापीठ के ग्रामीण क्षेत्रो में संचालित सामुदायिक केन्द्रों से सम्बंधित रिसर्च विषय एवं अकादमिक सदस्यों ने माइनर रिसर्च पेपर तैयार कराने होंगे। रिसर्च बोर्ड की बैठक में प्रो. जीवनसिंह खरकवाल, प्रो. सुमन पामेचा, प्रो. अनिता शुक्ला, डॉ. शेलेन्द्र मेहता, डॉ. उदयभान सिंह, डॉ. प्रकाश शर्मा, प्रो. एसके मिश्रा, प्रो. एसएस चौधरी एवं अन्य मौजूद थे।