8 लोगों ने किया बलात्कार- 24 मई को न्यायिक मजिस्ट्रेट को दिए गए अपने बयान में इस लड़की ने आरोप लगाया है की महीने भर पहले वह सुल्तानपुर जिला अस्पताल में दवा लेने आई थी। तभी रास्ते में गांव के जुगनू, साहबान, पप्पू बाबुल और निहाल ने जबरन उसको बुलेरो में बैठा लिया और मुँह में टेप लगा दिया। उसको गांव के ही पास में रहने वाले कमालुदीन फकरूदीन और शहाबुद्दीन के घर पंहुचा दिया और उसे एक महीने तक कैद में रखकर उसके साथ सामूहिक बलात्कार किया। एक दिन गांव के ही एक आदमी ने देखा तो नाबालिग के बारे में दबंगों से पूछने लगा, जिस पर दबंगों ने उसको भी मार मार कर अधमरा कर दिया। जब शोर शराबा हुआ तो वह दबंगों के चगुल से आज़ाद हो पाई। सभी आरोपी लड़की को बाहर ले जाकर बेचने की फ़िराक में थे।
पीड़िता के परिवार को धमकी दे रहे आरोपी- इधर बेटी के गायब होने से परेशान पिता ने काफी खोजबीन के बाद पुलिस को सूचना दी, तो कोई कार्यवाही न होते देख पीड़ित पिता मुखयमंत्री सहित आलाधिकारियों के दरबार में पंहुचा। तब दबाव में पुलिस ने मामूली धाराओं में मामला तो दर्ज कर लिया, लेकिन आज तक आरोपियों को गिरफ्तार नहीं पाई। वहीं आरोपी लगातार पीड़िता के परिवार को धमकी दे रहे हैं। पुलिसिया कार्यवाही से परेशान पीड़िता अब अदालत की शरण में है। पीड़िता के अधिवक्ता के मुताबिक पीड़ित लकड़ी ने धारा 164 के तहत अपना बयान दर्ज करवाया है।
मामूला धाराओं में पुलिस ने मामला किया दर्ज- पुलिस को पहले तो पास्को एक्ट में मुकदमा दर्ज़ करना चाहिए था जब वह कम उम्र की है। रूद्र प्रताप सिंह पीड़िता के अधिवक्ता ने कहा कि पुलिस का रूप देखिये कि इतने बड़े मामले में भी पहले तो मामला दर्ज नहीं किया और जब दर्ज भी किया तो मामूली धाराओं में। अब पूरे मामले को ही फर्जी बता रहे हैं, लेकिन मामला बढ़ने न पाए इसलिए और भी जांच कराने की बात भी कह रहे हैं।