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श्री गंगानगर

एक साल में 14 हजार बुखार रोगियों की स्लाइड जांच…पर मलेरिया पीडि़त कोई नहीं!

विश्व मलेरिया दिवस पर विशेष, मच्छरजनित बीमारियों से बचाव की अपील

श्री गंगानगरApr 25, 2024 / 07:51 pm

Ajay bhahdur

एक साल में 14 हजार बुखार रोगियों की स्लाइड जांच...पर मलेरिया मलेरिया पीडि़त कोई नहीं!

श्रीकरणपुर. सीएचसी पर महिला रोगी का ब्लड सैंपल लेते कार्मिक। -पत्रिका

प्रवीण राजपाल

श्रीकरणपुर. बदलते मौसम से मच्छरों का प्रकोप बढ़ जाता है। ऐसे में मच्छरजनित बीमारियां डेंगू, मलेरिया व चिकनगुनिया भी अपना प्रकोप दिखाने लगती हैं लेकिन इनमें मलेरिया सबसे आम बीमारी है। हैरानी की बात है कि स्थानीय सीएचसी पर पिछले एक साल के दौरान करीब 14 हजार बुखार रोगियों की स्लाइड जांच हो चुकी लेकिन इनमें मलेरिया का एक भी रोगी नहीं मिला।
जी हां, सरकारी आंकड़ों के मुताबिक यही सच है लेकिन हकीकत कुछ और है। जानकारी अनुसार रेपिड कॉर्ड टेस्ट में बहुत से रोगी मलेरिया पॉजीटिव आते हैं लेकिन सरकारी रेकॉर्ड में इनका उल्लेख मलेरिया रोगियों में नहीं किया जाता। वहीं, बहुत से रोगी प्राइवेट अस्पतालों में भी अपना उपचार करवाते हैं। ऐसे में उनका डेटा भी इस सरकारी रेकॉर्ड में शामिल नहीं हो पाता। इस बारे में बीसीएमओ डॉ.चरणजीतङ्क्षसह रौला ने बताया कि मलेरिया जांच के लिए बुखार पीडि़तों का स्लाइड टेस्ट करवाया जाता है। कुछ स्लाइड्स का बीकानेर में क्रॉस चेक भी होता है। एक अप्रेल 2023 से 31 मार्च 2024 तक 14138 रोगियों का स्लाइड टेस्ट हुआ लेकिन इनमें एक भी रोगी मलेरिया का नहीं मिला। हालांकि, रेपिड कॉर्ड टेस्ट के आधार पर या संभावित मलेरिया रोगियों को इस बीमारी से जुड़ा उपचार भी दिया गया।

…इसलिए मनाया जाता है मलेरिया दिवस

आपको बता दें कि हर वर्ष 25 अप्रेल को विश्व मलेरिया दिवस मनाया जाता है। जानकारी अनुसार वर्ष 2008 में पहली बार यह दिवस मनाया गया था। इससे पहले इसे अफ्रीका मलेरिया दिवस पुकारा जाता था लेकिन मलेरिया को रोकने और इसकी मृत्यु दर को कम करने के लिए वर्ष 2007 में विश्व स्वास्थ्य संगठन ने अपने 60वें सत्र में इसे विश्व मलेरिया दिवस का प्रस्ताव रखा और अगले वर्ष से 25 अप्रेल को विश्व मलेरिया दिवस मनाया जाने लगा। इस गंभीर बीमारी के खतरों, इलाज व बचाव के लिए आमजन को जागरूक करना ही इस दिवस का उद्देश्य है। जानकारी अनुसार इस वर्ष यानी 2024 में विश्व मलेरिया दिवस की थीम दुनिया के लिए मलेरिया के खिलाफ लड़ाई को तेज करना है।

ऐसे फैलता है मलेरिया, ये होते हैं लक्षण

जानकारी अनुसार मलेरिया एक प्रमुख वेक्टरजनित बीमारी है, जो संक्रमित मच्छरों की एक प्रजाति मादा एनीफिलीज मच्छर के काटने से होती है। संक्रमण के पश्चात मलेरिया के लक्षण आमतौर पर 10 दिन से चार सप्ताह में विकसित हो सकते हैं। मलेरिया के सामान्य लक्षण सिरदर्द, तेज बुखार, पसीना आना, मांसपेशियों में दर्द, उल्टी, जी मिचलाना और खांसी आदि हैं। इसके विशेष लक्षणों में अधिक ठंड लगने से कंपकंपी, छाती और पेट में तेज दर्द होना व शरीर में ऐंठन होना है।

सजग रहें, सफाई का रखें ध्यान…

मौसम मेे बदलाव व मच्छरजनित बीमारियों से आमजन को सजग रहने की जरूरत है। शरीर को पूरी तरह ढकने वाले कपड़े पहनने के साथ रात के समय बिस्तर पर मच्छरदानी का प्रयोग करें। मच्छररोधी कीटनाशी का छिड$काव भी किया जा सकता है। मच्छरों से मलेरिया के अलावा डेंगू, चिकनगुनिया आदि बीमारियां फैलती हैं। इनसे बचाव के लिए स्वच्छता पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है। घरों व आसपास क्षेत्र में जमा पानी में ही मच्छरों के लार्वा पैदा होते हैं। घर में पड़े कबाड़ में जमा पानी, गमलों व मटकों के नीचे रखे बर्तन में पड़े पानी, कूलर व फ्रिज की ट्रे मे जमा पानी को खाली करने के साथ पक्षियों के परिडें में पानी जमा नहीं रहने देना चाहिए। वहीं, पानी की टंकियों को भी ढककर रखा जाना चाहिए। बुखार या अन्य कोई लक्षण दिखाई देने पर भयभीत न होकर चिकित्सीय सलाह लें।
-डॉ.चरणजीतसिंह रौला, बीसीएमओ श्रीकरणपुर।

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