चम्बल फिर उफान पर, खतरे के निशान के नजदीक पहुंचा पानी
सवाई माधोपुरPublished: Sep 10, 2019 09:51:19 pm
नरोड़ा गांव के रास्ते तक पहुंचा चम्बल का पानी
चम्बल फिर उफान पर, खतरे के निशान के नजदीक पहुंचा पानी
बहरावण्डा खुर्द. राजस्थान मध्य प्रदेश की सीमा पर बह रही चंबल नदी एक बार फिर से उफान पर आ गई है। इसके चलते चंबल से सटे कई गांवों के ग्रामीण दहशत में हैं। वही चंबल का जलस्तर बढऩे से पाली ब्रिज के समीप बसे नरोड़ा गांव के मुख्य रास्ते तक चंबल का पानी पहुंच गया है। इससे नरोड़ा गांव का संपर्क मुख्य हाइवे से कट गया, हालांकि पाली घाट पर चंबल का जलस्तर अभी खतरे के निशान से थोड़ा नीचे है। इसके तहत चंबल से सटे गांव के लिए खतरे जैसी कोई संभावना नहीं है।
जानकारी के अनुसार मध्य प्रदेश में लगातार भारी बारिश के चलते नदी नाले उफान पर है। वहीं कोटा बैराज के गेट भी खोल दिए गए हंै। एक ओर पार्वती नदी में पानी की अधिक आवक होने व दूसरी ओर कोटा बैराज से लगातार पानी की निकासी के चलते मंगलवार को चम्बल का जलस्तर बढ़ गया।
पालीघाट स्थित केन्द्रीय जल आयोग से मिली जानकारी के अनुसार मंगलवार शाम 4.30 बजे तक चम्बल का गेज 19.50 मीटर चल रहा था। 20 मीटर पर चम्बल खतरे के निशान पर आ जाती है। वही यदि चम्बल का जलस्तर 20 मीटर से ऊपर निकल जाए तो चम्बल से सटे गांवो की लिए खतरा बन जाता है। हालांकि प्रशासन ने चम्बल से सटे गांवो में अलर्ट जारी कर रखा है। वहीं खतरे जैसी कोई बात होने पर तुरंत कंट्रोल रूम पर सूचना देने की अपील कर रखी है। गत दिनों पालीघाट स्थित चम्बल गेज 23.6 मीटर पहुंच गया था। इसके चलते कई गांवों को खाली करवाने की नौबत आ गई थी।
बनास में जलस्तर बढऩा भी एक कारण
बीसलपुर बांध से लगातार बनास में भी पानी की आवक बनी हुई है। जिससे बनास भी पूरे उफान पर है। क्षेत्र में रामेश्वर धाम स्थित त्रिवेणी संगम स्थल पर बनास का मिलन चम्बल से होता है। इसी कारण बनास की थोक लगने से भी चम्बल का जलस्तर पालीघाट की ओर बढ़ जाता है।
झरेल का बालाजी मंदिर फिर डूब में
चम्बल में पानी की आवक बढऩे से सवाई माधोपुर खातोली मार्ग पर स्थित झरेल के बालाजी का मंदिर पूरी तरह जलमग्न हो गया। वही इस मार्ग पर गत 2 महीने से आवागमन पूरी तरह से बंद है।
श्योपुर.खातोली मार्ग बंद, पुलिया पर 8 फीट की चादर
मध्यप्रदेश में भारी बारिश के चलते पार्वती नदी अपने पूरे वेग से बह रही है। वही पार्वती में उफान के चलते श्योपुर खातोली मार्ग का संपर्क एक बार फिर से कट गया। खातोली मार्ग पर स्थित पुलिया पर पार्वती नदी का पानी करीब 8 फीट ऊपर बह रहा है।