इस बार सर्वे में ये बिन्दु होंगे खास – डोर टू डोर कचरा कलेक्शन।
– घरों-दुकानों से गीला-सूखा कचरा अलग-अलग करना।
– सार्वजनिक, व्यावसायिक और आवासीय क्षेत्रों की नियमित सफाई।
– कचरा संग्रहण के लिए डस्टबिन की सुविधा।
– यूजर फीस, कचरा फैलाने वालों पर पैनल्टी, स्पॉट फाइन, प्लास्टिक बैन को लागू करना।
– बड़े पैमाने पर कचरा उत्सर्जक संस्थानों में ऑन साइट कंपोस्टिंग।
– वैज्ञानिक तरीके से कचरे की प्रोसेसिंग, साइट लैंडफिलिंग और कंस्ट्रक्शन व डेमोलिशन वेस्ट मैनेजमेंट सिस्टम।
– नागरिकों की समस्याओं को एप, हेल्पलाइन या अन्य माध्यम से दर्ज कर समाधान करने और फीडबैक के लिए सिस्टम।
– डंप साइट या ट्रेंचिंग ग्राउंड में पुराने कचरे की प्रोसेसिंग और निपटान के हालात।
– स्टार्म वाटर ड्रेन की सफाई और जलाशयों के सतह की सफाई का कार्य।
– शहर में सुंदरता के ऐसे इंतजाम करना जो साफ तौर पर देखे और महसूस किए जा सकें।
– शहर के कचरा उत्सर्जन में कमी।
– घरों-दुकानों से गीला-सूखा कचरा अलग-अलग करना।
– सार्वजनिक, व्यावसायिक और आवासीय क्षेत्रों की नियमित सफाई।
– कचरा संग्रहण के लिए डस्टबिन की सुविधा।
– यूजर फीस, कचरा फैलाने वालों पर पैनल्टी, स्पॉट फाइन, प्लास्टिक बैन को लागू करना।
– बड़े पैमाने पर कचरा उत्सर्जक संस्थानों में ऑन साइट कंपोस्टिंग।
– वैज्ञानिक तरीके से कचरे की प्रोसेसिंग, साइट लैंडफिलिंग और कंस्ट्रक्शन व डेमोलिशन वेस्ट मैनेजमेंट सिस्टम।
– नागरिकों की समस्याओं को एप, हेल्पलाइन या अन्य माध्यम से दर्ज कर समाधान करने और फीडबैक के लिए सिस्टम।
– डंप साइट या ट्रेंचिंग ग्राउंड में पुराने कचरे की प्रोसेसिंग और निपटान के हालात।
– स्टार्म वाटर ड्रेन की सफाई और जलाशयों के सतह की सफाई का कार्य।
– शहर में सुंदरता के ऐसे इंतजाम करना जो साफ तौर पर देखे और महसूस किए जा सकें।
– शहर के कचरा उत्सर्जन में कमी।
फिर से मिलेगा बेहतर रैंक
एसके चतुर्वेदी, स्वास्थ्य अधिकारी नगर निगम ने बताया कि शहर को पहले भी स्वच्छ बनाने में निगम प्रशासन और शहरवासियों ने मेहनत की है, जिसका परिणाम रहा है लगातार दो वर्षों से अच्छी रैंक मिल रही है। हमारी कोशिश हैकि इस वर्ष जो भी मानक हैं उन्हें पूरा करते हुए फिर से बेहतर रैंक दिलाया जाए।
एसके चतुर्वेदी, स्वास्थ्य अधिकारी नगर निगम ने बताया कि शहर को पहले भी स्वच्छ बनाने में निगम प्रशासन और शहरवासियों ने मेहनत की है, जिसका परिणाम रहा है लगातार दो वर्षों से अच्छी रैंक मिल रही है। हमारी कोशिश हैकि इस वर्ष जो भी मानक हैं उन्हें पूरा करते हुए फिर से बेहतर रैंक दिलाया जाए।
शहर में कचरा दिखे तो टोल फ्री नंबर पर डायल करिए
स्वच्छता के मानकों को पूरा करने के लिए नगर निगम की ओर से तैयारी भी शुरूकर दी गईहै। इसके लिए निगम ने एक टोल फ्री नंबर जारी किया है, जिसमें सुबह छह बजे से देर रात तक शिकायतें दर्जकी जाएंगी। शहर के भीतर कहीं भी कचरा दिखा तो सीधे टोलफ्री नंबर जारी कर निगम के कंट्रोल रूम को सूचित करें। यहां पर डोरटूडोर कचरा कलेक्शन नहीं होने, मोहल्लों में खुले में कचरा पड़े होने, नालियों की सफाई नहीं होने, खाली प्लाट और सड़कों पर कचरा, मृत जानवरों और मवेशियों आदि की जानकारी दी जा सकेगी। निगम के स्वास्थ्य अधिकारी एसके चतुर्वेदी ने शहर के सफाई गोदाम में टोलफ्री नंबर 1800-274-1010 जारी किया। उन्होंने बताया कि कर्मचारियों की अलग-अलग समय पर ड्यूटी लगाई गईहै, वह शिकायतों को रजिस्टर में दर्जकर संबंधित वार्डके प्रभारी को जानकारी देंगे। इसके पहले डोरटूडोर कचरा कलेक्शन को लेकर अलग-अलग माध्यमों से शिकायतें आती रही हैं। कईदिनों तक लगातार वार्डों में कचरा कलेक्शन वाहन नहीं पहुंच रहे थे, इधर शिकायत के बाद कचरा कलेक्शन करने वाली कंपनी का दावा करती थी कि उसके वाहन नियमित जा रहे हैं। शिकायत के लिए टोलफ्री नंबर जारी करने के लिए एमआईसी सदस्य नीरज पटेल ने मांग भी उठाई थी। यह स्वच्छता सर्वेक्षण 2019 के लिए निगम को अंक दिलाने में सहायक होगा।
स्वच्छता के मानकों को पूरा करने के लिए नगर निगम की ओर से तैयारी भी शुरूकर दी गईहै। इसके लिए निगम ने एक टोल फ्री नंबर जारी किया है, जिसमें सुबह छह बजे से देर रात तक शिकायतें दर्जकी जाएंगी। शहर के भीतर कहीं भी कचरा दिखा तो सीधे टोलफ्री नंबर जारी कर निगम के कंट्रोल रूम को सूचित करें। यहां पर डोरटूडोर कचरा कलेक्शन नहीं होने, मोहल्लों में खुले में कचरा पड़े होने, नालियों की सफाई नहीं होने, खाली प्लाट और सड़कों पर कचरा, मृत जानवरों और मवेशियों आदि की जानकारी दी जा सकेगी। निगम के स्वास्थ्य अधिकारी एसके चतुर्वेदी ने शहर के सफाई गोदाम में टोलफ्री नंबर 1800-274-1010 जारी किया। उन्होंने बताया कि कर्मचारियों की अलग-अलग समय पर ड्यूटी लगाई गईहै, वह शिकायतों को रजिस्टर में दर्जकर संबंधित वार्डके प्रभारी को जानकारी देंगे। इसके पहले डोरटूडोर कचरा कलेक्शन को लेकर अलग-अलग माध्यमों से शिकायतें आती रही हैं। कईदिनों तक लगातार वार्डों में कचरा कलेक्शन वाहन नहीं पहुंच रहे थे, इधर शिकायत के बाद कचरा कलेक्शन करने वाली कंपनी का दावा करती थी कि उसके वाहन नियमित जा रहे हैं। शिकायत के लिए टोलफ्री नंबर जारी करने के लिए एमआईसी सदस्य नीरज पटेल ने मांग भी उठाई थी। यह स्वच्छता सर्वेक्षण 2019 के लिए निगम को अंक दिलाने में सहायक होगा।