जिला अस्पताल व उससे जडे़ चिकित्सा केंद्रों पर रूई की आपूर्ति के लिए करीब डेढ़ माह पूर्व ऑर्डर प्लेस किया गया था। पांच फरवरी को इंदौर से रतलाम के लिए रूई लेकर एक ट्रक निकला भी लेकिन वो भी अब तक पहुंच नहीं पाया है। इन सब के बीच मरीज के इलाज के लिए बाहर से रूई मंगवाई जा रही है।
इलाज से पहले लेने जाना पड़ा असल में अस्पताल में दोपहर करीब एक बजे डेलनपुर के करीब एक बाइक स्लिप होने के बाद पुनापाड़ा की सेवा नाम की महिला घायल हो गई। महिला को उसका पति कचरू ही जिला अस्पताल लेकर आया। मल्लम पट्टी के लिए रूई बाहर से लाने को कहा गया। पीडि़त इलाज करवाने के लिए मजबूरन बाजार से रूई खरीदकर लाया। अन्य मरीजों को भी रोजाना इसी स्थिति का सामना करना पड़ता है।
इतनी है प्रतिदिन की खपत अस्पताल में काम करने वाले चिकित्सकों के अनुसार लेबर रूम में ही कभी 5 तो कभी 7 बंडल लग जाते हैं। एक बंडल में 500 ग्राम रूई आती है। इसी प्रकार कभी अधिक डिलेवरी हो तो अधिक की भी जरुरत होती है। इसी प्रकार ट्रामा सेंटर, इमरजेंसी वार्ड आदि में इसके अतिरिक्त जरूरत होती है।
बाल चिकित्सालय में दवा खत्म
जिला अस्पताल में जहां रूई नहीं है तो दूसरी तरफ बाल चिकित्सालय में बच्चों के लिए जरूरी दवाएं खत्म हो गई है। यहां पर पदस्थ चिकित्सकों ने बताया कि एंटी कोल्ड यानि की सर्दी होने या झुकाम होने पर बच्चों को जो दवा दी जाती है, वो जीरो से दो वर्ष के उम्र के बच्चों के पीने की दवा नहीं है। ये हालात करीब एक माह से अधिक समय से है। इसी प्रकार पेट खराब करके उल्टी की बीमारी लेकर आने वाले बच्चों को ठीक करने की दवा स्पोटलेक खत्म हो गई है। एेसे में बाहर की दवाएं मंगाई जा रही है।
जिला अस्पताल में जहां रूई नहीं है तो दूसरी तरफ बाल चिकित्सालय में बच्चों के लिए जरूरी दवाएं खत्म हो गई है। यहां पर पदस्थ चिकित्सकों ने बताया कि एंटी कोल्ड यानि की सर्दी होने या झुकाम होने पर बच्चों को जो दवा दी जाती है, वो जीरो से दो वर्ष के उम्र के बच्चों के पीने की दवा नहीं है। ये हालात करीब एक माह से अधिक समय से है। इसी प्रकार पेट खराब करके उल्टी की बीमारी लेकर आने वाले बच्चों को ठीक करने की दवा स्पोटलेक खत्म हो गई है। एेसे में बाहर की दवाएं मंगाई जा रही है।
बाहर से लाया रूई
बाइक डेलनपुर के करीब फिसल गई, इससे पत्नी को चोट लग गई है। इलाज के लिए यहां पहुंचे तो डॉक्टरों ने बताया कि यहां रूई नहीं है, इसलिए बाहर से खरीदकर लाया हूं।
– कचरू, निवासी पुनापाड़ा
बाइक डेलनपुर के करीब फिसल गई, इससे पत्नी को चोट लग गई है। इलाज के लिए यहां पहुंचे तो डॉक्टरों ने बताया कि यहां रूई नहीं है, इसलिए बाहर से खरीदकर लाया हूं।
– कचरू, निवासी पुनापाड़ा
जल्दी होगी आपूर्ति
अस्पातल में बिल्कुल ही रूई नहीं है एेसा भी नहीं है। कुछ कमी है, इंदौर से ट्रक निकल गया है, जल्दी ही आपूर्ति हो जाएगी। इसके लिए ऑर्डर पहले भी भेज दिया गया था।
– डॉ. पी. ननावरे, सीएमएचओ
अस्पातल में बिल्कुल ही रूई नहीं है एेसा भी नहीं है। कुछ कमी है, इंदौर से ट्रक निकल गया है, जल्दी ही आपूर्ति हो जाएगी। इसके लिए ऑर्डर पहले भी भेज दिया गया था।
– डॉ. पी. ननावरे, सीएमएचओ