सरपंच जंघेल ने बताया कि घर-घर शौचालय निर्माण के लिए मटेरियल सप्लायरों व व्यापारियों के पास से लगभग 8 लाख की उधारी है। इसके अलावा पंचायत में हुए अन्य कार्यों का भी 5 लाख के आस-पास उधारी है। उन्होने बताया कि निर्माण कार्यों को पूरा हुए 5 से 6 माह का समय बीत गया है। बावजूद इसके राशि नहीं मिला है। सरपंच ने कहा कि जिन व्यापारियों से उधारी में मटेरियल लिया गया है वे पैसा के लिए लगातार तगादा कर रहे हैं।
छुईखदान ब्लाक के ग्राम विचारपुर के सरपंच राजेश जंघेल ने बताया कि मनरेगा के तहत पंचायत के 160 घरों में शौचालय का निर्माण पूरा कर लिया गया है। अधिकारियों ने इस कार्य के लिए दूसरे मद की राशि का उपयोग करने की बात कही थी। दूसरे मद में भी राशि नहीं है। व्यापारियों से उधारी में मटेरियल खरीदकर कार्य कराया गया है, लेकिन शासन से राशि नहीं मिल रहा है। अब तो एक ही चारा बचा है या तो जमीन बेचे दे या सरकार से इच्छा मृत्यु की मांग की जाए।
सीईओ जिला पंचायत चंदन कुमार ने बताया कि शौचालय निर्माण का कुछ जगहों पर राशि अटकी हुई थी। राशि जारी हो रहा है। छुईखदान ब्लाक में इस तरह के मामले की जानकारी नहीं है। जल्द ही इसका पता लगाकर राशि रुकने के कारणों का पता लगाया जाएगा।