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रायपुर

विधानसभा चुनाव 2023 से पहले भाजपा संगठन में बदलाव को लेकर भाजपा प्रदेश प्रभारी डी. पुरंदेश्वरी ने कही ये बड़ी बात

विधानसभा 2023 की तैयारियों के मद्देनजर भाजपा प्रदेश प्रभारी डी. पुरंदेश्वरी ने छत्तीसगढ़ में अपनी सक्रियता बढ़ा दी है। वर्ग विशेष को टारगेट कर रणनीति बनाने पर काम शुरू हो गया है। ऐसे में कांग्रेस के आरोपों और भाजपा नेताओं के मन में उठ रहे सवालों को लेकर ‘पत्रिका’ ने प्रभारी डी. पुरंदेश्वरी ने खास बात की है।
 

रायपुरMar 06, 2022 / 08:02 pm

Ashish Gupta

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विधानसभा चुनाव 2023 से पहले भाजपा संगठन में बदलाव को लेकर भाजपा प्रदेश प्रभारी डी. पुरंदेश्वरी ने कही ये बड़ी बात

रायपुर. विधानसभा 2023 (CG Assembly Election 2023) की तैयारियों के मद्देनजर भाजपा प्रदेश प्रभारी डी. पुरंदेश्वरी ने छत्तीसगढ़ में अपनी सक्रियता बढ़ा दी है। वर्ग विशेष को टारगेट कर रणनीति बनाने पर काम शुरू हो गया है। दावेदारों की भी हलचल बढ़ गई है। ऐसे में कांग्रेस के आरोपों और भाजपा नेताओं के मन में उठ रहे सवालों को लेकर ‘पत्रिका’ ने प्रभारी डी. पुरंदेश्वरी ने खास बात की है। उन्होंने साफ कर दिया है कि टिकट वितरण के लिए पार्टी का अपना एक पैमाना होता है। इस बार सर्वे के साथ प्रत्याशियों की योग्यताओं को भी परखा जाएगा, ताकि विरोध जैसी बात नहीं रहे। वहीं संगठन में बदलाव और विस्तार को लेकर उन्होंने संकेत दे दिए हैं कि रिपोर्ट के आधार पर शीर्ष नेतृत्व फैसला लेता है।
सवाल: भाजपा संगठन में कसावट लाने की क्या रणनीति रहेगी, गुटबाजी की बातें भी गाहे-बगाहे आती रहती है ?
उत्तर : ऐसा नहीं है। भाजपा में गुटबाजी नहीं है, बल्कि कांग्रेस में जमकर गुटबाजी चल रही है। इसे पूरे देश ने दिल्ली में देखा है। रही बात भाजपा की तो यहां ऐसा कुछ नहीं है। पार्टी में एक-दो लोगों के बीच मनमुटाव हल्का फुल्का हो सकता है, लेकिन ज्यादा दिन के लिए नहीं।
सवाल: संगठन के आंदोलन और कार्यक्रमों से आप कितनी संतुष्ट है?
उत्तर: संगठन स्तर पर लगातार लोगों की समस्याओं को उठाया जा रहा है। किसानों की समस्याओं को लेकर प्रदेशभर में प्रदर्शन किया गया। राज्य सरकार की वजह से खाद का संकट हुआ। इस मुद्दे को भी उठाया गया। समय-समय पर प्रदेशभर के अलग-अलग जिलों में सरकार के खिलाफ धरना-प्रदर्शन भी किया जा रहा है। चाहे वह किसानों के धान खरीदी, आदिवासी क्षेत्रों में महिलाओं और बच्चों की मौत हो, धर्मांतरण का मुद्दा हो या फिर सरकार की वादा-खिलाफी हो। भाजपा सभी मुद्दे को जोर-शोर से उठा रही है।
सवाल: मुख्यमंत्री गुजरात मॉडल को फेल बता रहे हैं। देश और चुनाव में छत्तीसगढ़ मॉडल की चर्चा है। इसे आप किस रूप में देखती हैं?
उत्तर: देखिए, गुजरात मॉडल सबका साथ सबका विकास वाला है। भाजपा हमेशा सबको साथ लेकर चलती है। समाज के हर वर्ग के लोगों का विकास करती है। गरीबों को आत्मनिर्भर बनाने के लिए केंद्र सरकार द्वारा कई योजनाएं चलाई जा रही है। जिसका लाभ देश के लोगों को मिल रहा है। जहां तक छत्तीसगढ़ मॉडल की बात है, तो कांग्रेस सरकार के आंकड़े देख लीजिए। राज्यसभा में बच्चों की मौत के आंकड़े दिए हैं। सरगुजा में पंडो जनजातियों की मौत, कुपोषण में भी कमी नहीं हो रही है और सरप्लस बिजली राज्य में बिजली कटौती रही है। यही है क्या छत्तीसगढ़ का मॉडल ।
सवाल: चुनाव के समय सभी दल जनता से अपने अपने वादे करते हैं। क्या ये वादे पूरे होते हैं?
उत्तर: कांग्रेस ने प्रदेश के लोगों से जो वादे किए थे, वे आज तक पूरे नहीं हुए। हाथ में गंगाजल लेकर शराबबंदी का वादा किया था। तीन साल हो गए पर अभी तक कांग्रेस कमेटी-कमेटी खेल रही है। अब समाज के लोगों से समर्थन लेने की बात कर रही है, यानी कांग्रेस सरकार शराबबंदी के पक्ष में नहीं है।
(संतराम साहू की रिपोर्ट)

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