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Good News: Private Job वालों को भी मिलेगी Pension! फैमिली पेंशन का ऐसे उठाएं लाभ

locationनोएडाPublished: Sep 13, 2020 10:15:50 am

Submitted by:

Rahul Chauhan

Highlights
-पीएफ खाते से बन जाती हा पेंशन
-लगातार 10 वर्ष तक नौकरी करनी होगा

Atal Pension Yojana: रोजाना 7 रुपये देकर पाएं पांच हजार रुपया पेंशन, जानें कौन ले सकता है योजना का लाभ

Atal Pension Yojana: रोजाना 7 रुपये देकर पाएं पांच हजार रुपया पेंशन, जानें कौन ले सकता है योजना का लाभ

नोएडा। कोरोना वायरस के चलते दुनियाभर के लोग परेशान हैं। अर्थव्यवस्था पूरी तरह डगमगा गई है। वहीं लोगों की नौकरियां जा रही हैं। भारत की अगर बात करें तो कोरोना वायरस महामारी और लॉकडाउन नौकरीपेशा लोगों के लिए विकराल संकट बनकर आई है। जहां उद्योग-धंधे चौपट हो गए तो वही लोगों के रोज़गार छिन गए हैं और बेरोज़गारी बढ़ गई है। इस बीच उनके लिए सिर्फ एक ही सहारा बचता है और वह है पीएफ फंड और उससे मिलने वाली पेंशन।
दरअसल, कंपनियों और संगठित क्षेत्र में काम करने वाले कर्मचारियों के लिए श्रम मंत्रालय के अधीन आने वाला कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) पीएफ (PF) और पेंशन स्कीम चलाता है। कर्मचारी हर महीने अपने वेतन में से कुछ हिस्सा पीएफ जमा करते हैं और उतना ही कंपनी भी उसमें जमा करती है। कंपनी जो हिस्सा पीएफ में जमा करती है उसका कुछ हिस्सा इम्‍प्‍लॉई पेंशन स्कीम (EPS) में भी जाता है। इसके जरिए ही कर्मचारियों को रिटायरमेंट के बाद पेंशन भी मिलती है।
पीएफ व पेंशन के जानकार एडवोकेट ओमकार शर्मा बताते हैं कि ईपीएस से न सिर्फ कर्मचारी को बल्कि उसके परिवार को भी इसका फायदा होता है। कोरोनाकाल में अगर किसी कारण ईपीएफ मेंबर की मृत्यु हो जाती है तो उसके परिवार यानी पत्नी या पति व बच्चों को भी इस पेंशन का फायदा मिलता है। इसको फैमिली पेंशन भी कहा जाता है। हालांकि इसके लिए कर्मचारी का कम से कम 10 साल लगातार नौकरी करना जरूरी है। तभी उसे या उसके परिवार को इस पेंशन का लाभ मिलेगा। इस पेंशन स्कीम में सिर्फ कंपनी का ही योगदान होता है। यह पीएफ में कंपनी द्वारा किए जाने वाले 12 फीसदी योगदान का 8.33 फीसदी होता है।
किसे मिलती है फैमिली पेंशन-

-ईपीएस स्कीम के सदस्य की मृत्यु के बाद उसकी पत्नी या पति को ये पेंशन मिलती है।

-अगर कर्मचारी के बच्चे हैं तो उसके 2 बच्चों को भी 25 साल की उम्र तक पेंशन मिलती है।
-अगर कर्मचारी शादीशुदा नहीं है तो उसके नॉमिनी को ये पेंशन मिलती है।

-अगर कोई नॉमिनी नहीं है तो कर्मचारी की मृत्यु के बाद उसके माता-पिता इस पेंशन के हकदार होते हैं।

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