यह था पूरा मामला बता दें कि मामला शामली के मेरठ-करनाल मार्ग पर स्थित प्रकाशवती में महत्वपूर्ण प्रश्न आश्रम में महिला आयोग के उपाध्यक्ष सुषमा सिंह ने दो दिन पूर्व औचक निरीक्षण किया था। इस दौरान आश्रम संचालिका और कर्मचारी गायब मिले थे। रसोई घर में रखी दाल में कीड़े चलते मिले, कई लोगों ने शराब पी रखी थी। आश्रम के लोगों ने बताया कि समय से खाना नहीं दिया जा रहा था। कपड़े और बर्तन खुद धोने पड़ते हैं। इतना ही नहीं उपाध्यक्ष ने जब पूछताछ की तो महिलाओं ने बताया था कि उनसे शहर में भीख तक मंगवाई जाती है।
अधीक्षक लक्ष्मी मौके पर पहुंची और उपस्थिति रजिस्टर में दर्ज आधे कर्मचारी अनुपस्थित मिले। काफी लोग ऐसे थे जो अभी आश्रम आए ही नहीं। रहने वालों ने बताया कि सब्जी कभी-कभी मिलती है। इसके साथ ही शराब की महफिल सजती है। लोग आश्रम में रहते हैं, लेकिन दिन में भीख मांगते हैं। इस बात को लेकर आयोग उपाध्यक्ष भड़क गई थी। जिसके बाद जमकर डांट फटकार लगाते हुए आश्रम की अधीक्षक लक्ष्मी गुप्ता, भंडार प्रभारी कोमल श्रीवास्तव व उसके पति सेवादार दीपक तथा सेवादार सत्य प्रकाश के खिलाफ तत्काल मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई के निर्देश दिए थे।
यह की गई कार्रवाई एसपी शामली ने बताया कि वृद्धा आश्रम की अवस्थाओं को लेकर समाज कल्याण विभाग में वरिष्ठ सहायक मनोज कुमार की तहरीर पर प्रकाशवती वृद्धा आश्रम की संचालक संस्था ग्रामीण विकास सेवा संस्थान अलीगढ़ की संचालिका, शामली स्थित वृद्धाश्रम की वार्डन श्रीमती लक्ष्मी गुप्ता वार्डन व सत्य प्रकाश नागर के विरुद्ध IPC की धारा 409, 420 के तहत मुकदमा थाना आदर्श मंडी में पंजीकृत कराया गया है।