Published: Sep 10, 2018 07:57:53 pm
Saurabh Sharma
महाकर्ज में डूबे पाकिस्तान के नए प्रधानमंत्री इमरान ने कड़े फैसले लेने शुरू कर दिए हैं। आने वाले दिनों में इमरान खान अब विदेशों से आयात होने वाली लग्जरी गाड़ियों आैर स्मार्टफोन्स पर पाबंदी लगा सकती है।
कर्ज में डूबा पाकिस्तान लगा सकता है लग्जरी कारों, स्मार्टफोन्स के आयात पर पाबंदी
नर्इ दिल्ली। महाकर्ज में डूबे पाकिस्तान के नए प्रधानमंत्री इमरान ने कड़े फैसले लेने शुरू कर दिए हैं। आने वाले दिनों में इमरान खान अब विदेशों से आयात होने वाली लग्जरी गाड़ियों आैर स्मार्टफोन्स पर पाबंदी लगा सकती है। जानकारों की मानें तो इमरान सरकार एेसा आर्इएमएफ के बेलआउट पैकेज से बचने के लिए कर रही है। आपको बता दें कि पाकिस्तान को आर्इएमएफ पैकेज की सख्त जरुरत है। वहीं पैकेज मिलने के बाद पाकिस्तान पर कर्ज आैर भी बढ़ जाएगा। वहीं अमरीका के दबाव के बीच आर्इएमएफ आैर वर्ल्ड बैंक राहत पैकेज देने के बारे में काफी सोच विचार कर रही है। एेसे में इमरान सरकार का यह बड़ा कदम बताया जा रहा है।
वित्त मंत्री ने की थी मीटिंग
पाकिस्तान की आर्थिक हालत को सुधारने के लिए वित्त मंत्री असद उमर की अध्यक्षता में एक मीटिंग हुर्इ थी। इस मीटिंग में इकनॉमिक अडवाइजरी काउंसिल के सदस्य मौजूद थे। आयात घटाने और निर्यात बढ़ाने के लिए कई विचारों पर चर्चा की गई, लेकिन फिलहाल कोई निर्णय नहीं निकला है। आपको बता दें कि पाकिस्तान के आर्थिक हालात बहुत बुरे हैं। एेसे में पाकिस्तान की आेर से बड़े कठोर कदम उठाने की कोशिश कर रहे हैं।
सभी के अनुमान को साबित किया गलत
पाकिस्तान के लगातार चालू खाते का घाटा बढ़ रहा है। जिसकी वजह से पाकिस्तान में एक्सपोर्ट गिर रहा था आैर इंपोर्ट बढ़ रहा था। जिससे पाकिस्तान में डॉलर की कमी हो गई थी। इससे लोकल करंसी पर दबाव बन रहा था। इस वजह से इमरान खान के शपथ लेने से पहले ही अर्थशास्त्री अनुमान लगा रहे थे कि वह पीएम बनते ही आर्इएमएफ से बेलआउट पैकेज की मांग करेंगे। अब पाकिस्तान आैर दुनिया के अर्थशास्त्री हैरान है कि आखिर इमरान खान आर्इएमएफ के पैकेत से क्यों बच रहे हैं। आपको बता दें कि पाकिस्तान इससे पहले 14 बार बेलआउट पैकेज ले चुका है।
बचाए जा सकते हैं 4 से 5 बिलियन डॉलर
यूनिवर्सिटी प्रफेसर अशफाक हसन की मानें तो चीज, कार, सेलफोन्स और कुछ फलों के इंपोर्ट पर एक साल तक के बैन लगाने से करीब 4-5 बिलियन डॉलर बचाए जा सकते हैं। वहीं एक्सपोर्ट को 2 बिलियन डॉलर और बढ़ाने का विचार है। बता दें कि पाकिस्तान का चालू खाते का घाटा जून 30 तक 43 फीसदी बढ़कर 18 बिलियन डॉलर तक पहुंच गया था। इस वजह से उसे अपनी करंसी का अवमूल्यन भी करना पड़ा था।