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ERICSSON ने SC से की अब तक की सबसे बड़ी डिमांड, कहा अनिल अंबानी को जेल में डाला जाए

locationनई दिल्लीPublished: Jan 04, 2019 09:54:13 am

Submitted by:

Dimple Alawadhi

स्वीडन की टेलीकॉम उपकरण बनाने वाली कंपनी एरिक्सन (ERICSSON) ने अनिल अंबानी की रिलायंस कम्युनिकेशंस (RCOM) के खिलाफ भारत के सुप्रीम कोर्ट से अपील की है। एरिक्सन का कहना है कि अगर आरकॉम उसके 550 करोड़ रुपए नहीं चुकाती है, तो वह कंपनी के चेयरमैन अनिल अंबानी के देश छोड़ने पर पाबंदी लगाए और उन्हें सिविल जेल में डालने का आदेश जारी करे।

Anil Ambani

ERICSSON ने SC से की अब तक की सबसे बड़ी डिमांड, कहा अनिल अंबानी को जेल में डाला जाए

नई दिल्ली। स्वीडन की टेलीकॉम उपकरण बनाने वाली कंपनी एरिक्सन (ERICSSON) ने अनिल अंबानी की रिलायंस कम्युनिकेशंस (RCOM) के खिलाफ भारत के सुप्रीम कोर्ट से अपील की है। एरिक्सन का कहना है कि अगर आरकॉम उसके 550 करोड़ रुपए नहीं चुकाती है, तो वह कंपनी के चेयरमैन अनिल अंबानी के देश छोड़ने पर पाबंदी लगाए और उन्हें सिविल जेल में डालने का आदेश जारी करे। इतना ही नहीं एरिक्सन ने सुप्रीम कोर्ट से कंपनी के एसेट्स की सेल पर रोक लगाने और आरकॉम को उसके लेंडर्स का बकाया ब्याज चुकाने का आदेश जारी करने की भी मांग की है। इसके साथ ही एरिक्सन ने कंपनी के खिलाफ नेशनल कंपनी लॉ ट्राइब्यूनल (NCLT) के ऑर्डर और कार्यवाई के मुताबिक इनसॉल्वेंसी रिजॉल्यूशन प्रोसेस शुरू कराने की इजाजत दिए जाने की भी अपील की।


अंबानी के खिलाफ इसलिए फाइल की गई याचिका

हालांकि पहले एनसीएलटी ने आरकॉम के खिलाफ इनसॉल्वेंसी पिटीशन मंजूर कर ली, लेकिन आरकॉम 46,600 करोड़ रुपए के कर्ज के बोझ में 18,000 करोड़ रुपए की कमी लाने के लिए एसेट मॉनेटाइजेशन प्लान देकर इस प्रोसेस से बचने में कामयाब रही। दरअसल अनिल अंबानी ने आरकॉम पर चढ़े एरिक्सन के बकाये का भुगतान समय पर होने को लेकर सुप्रीम कोर्ट में पर्सनल गारंटी दी थी, जिसकी पहली डेडलाइन 30 सितंबर 2018 की थी जो मिस हो गई। इसलिए अनिल अंबानी के खिलाफ ये अवमानना याचिका फाइल की गई। एरिक्सन का बकाया चुकाने के लिए आरकॉम को सुप्रीम कोर्ट से 15 दिसंबर तक की मोहलत मिली थी।


आरकॉम ने टेलिकॉम डिपार्टमेंट को ठहराया जिम्मेदार

इस संदर्भ में आरकॉम का कहा है कि एरिक्सन और लेंडर्स का बकाया चुकाने में उसे जो देरी हो रही है, उसकी जिम्मेदार टेलिकॉम डिपार्टमेंट है। वहीं आरकॉम का कहना है कि टेलीकॉम डिपार्टमेंट रिलायंस जियो के साथ उसकी स्पेक्ट्रम डील को नो ऑब्जेक्शन सर्टिफिकेट (NOC) नहीं दे रहा है। कंपनी ने DoT के खिलाफ अदालत में अवमानना याचिका दी हुई है। SC सोमवार को दोनों मामलों की सुनवाई करेगा।

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