बुजुर्गों ने बताया कि मामले का निपटारा करना तो दूर विभाग में उन्हें संतोषप्रद जवाब भी नहीं मिलता। बेकद्री की हद हुई तो धरने पर मजबूर होना पड़ा। कड़ी धूप और घबराहट के बावजूद बुजुर्ग देर तक धरने पर बैठे रहे,
बाद में राजस्थान पेंशनर्स समाज जिला शाखा कोटा के एकप्रतिनिधिमंडल ने संभागीय आयुक्त को मुख्य मंत्री के नाम ज्ञापन देकर 2016 से पूर्व के पेंशनर्स के सातवें वेतन आयोग के रिविजन, फिक्सेशन की मांग की साथ ही पेंशनर्स के साथ असहयोग का आरोप भी लगाया। प्रतिनिधि मंडल में जिलाध्यक्ष रमेश चन्द्र गुप्ता,जिला मंत्री आरपी गुप्ता,वरिष्ठ उपाध्यक्ष मुरारी लाल शर्मा,हरिसूदन शर्मा,प्रचार मंत्री घनश्याम शर्मा समेत अन्य कर्मचारी उपस्थित रहे।
हमे इस उम्र में धक्के खाने पर मजबूर होना पड़ रहा है। सरकार हमें आने जाने की सुविधा उपलब्ध करवाए तो हम आज भी कार्य कर सकते हैं। हमने अपनीजिंदगी में कभी किसी को परेशान नहीं होने दिया, आज हमें ये दिन देखने पड़ रहे हैं।- 90 वर्षीय गणेशी लाल, पूर्व सहायकलेखाधिकारी
मेरी
पेंशन का मामला एक वर्ष से विलंबित है, मैं पेंशन कार्यालय में गया तो विभाग के अधिकारी ने 10 मिनट तक तो मेरी तरफ देखा तक नहीं, बाद में बाहर जाकर तलाश करने के लिए कहा। विभाग की यह हालत है।-90 वर्षीय भंवर लाल शर्मा,पूर्व शिक्षा निदेशक,90 वर्षीय बीकानेर
कार्यालय में बैठने की व्यवस्था तक नहीं है। पूछा जाता है कैसे आए। विभाग में कोई बुजुर्ग पानी पीना चाहे तो वह भी नहीं मिले। कर्मचारियों की परेशानियों को दूर करना तो दूर विभाग बढ़ा रहा है।-घनश्याम शर्मा,सेवानिवृत्त कर्मचारी
आज तो हमने धरना देकर चेताया है, सप्ताहभर में भी हमारी समस्याओं का निराकरण नहीं किया तो आगे की रूपरेखा तैया कर आंदोलन व
भूख हड़ताल करेंगे।-रमेश गुप्ता,जिलाध्यक्ष राजस्थान पेंशनर्स समाज सरकार ने
पे रिविजन के आदेश कर दिए हैं, इसके बावजूद डेढ़ वर्ष से प्रकरण अटके हुएहैं। सरकार इन मामलों को निपटाए, कोटा जिले में साढ़े उन्नीस हजार पेंशनर्स हैं। यह सांकेतिक धरना पे रिविजन के लिए हैद्ध सरकार समस्या का शीघ्र निराकरण करे, नहीं तो आगे कार्रवाई करेंगे।-
रामकिशोर अग्रवाल, पूर्व प्रदेश अध्यक्ष पेंशनर्स समाज