माध्यमिक परीक्षा 12 फरवरी से शुरू हुई है। शुरुआती दो प्रश्नपत्र वायरल होने के बाद शिक्षामंत्री ने पर्षद अध्यक्ष को फटकार लगाई थी। पर्षद की ओर से विधानगर कमिश्नरेट के साईबर सेल में मामला दर्ज किया गया था। जिसकी जांच चल रही है। वहीं दूसरे प्रश्नपत्र के वायरल होने के बाद से पर्षद ने संवाददाता सम्मेलन बंद कर दिया पर पेपर वायरल होने की घटनाएं नहीं रुकीं। राज्यभर में पुलिस छापेमारी अभियान चला रही है। अब तक कुछ गिरफ्तारियां भी हुई हैं।
प्रश्नपत्र वायरल होने का रिकार्ड लगातार 6वें दिन प्रश्नपत्र वायरल होने से शिक्षा पर्षद के उस दावे की पोल फिर खुल गई जिसमें उसने परीक्षा केन्द्रों में मोबाईल रोकने के कड़े इंतजाम करने की बात कही थी। पर्षद ने शिक्षकों के मोबाईल स्विच ऑफ करके आलमारी में बंद करने के निर्देश दिए, गैर शिक्षण कर्मचारियों के मोबाईल ले जाने पर निषेधाज्ञा जारी की। इसके बाद भी पेपर वायरल हो रहे हैं।
प्रश्नपत्र वायरल करने वालों पर सीआईडी की नजर
माध्यमिक परीक्षा के प्रश्नपत्रों को मोबाइल पर वायरल करने वालों पर सीआईडी पैनी नजर रखे हुए है। सीआईडी ने अब तक 5 लोगों को गिरफ्तार किया है। कई लोग जांच के दायरे में है जिनके नामों का खुलासा सीआईडी ने नहीं किया है।
माध्यमिक परीक्षा के प्रश्नपत्रों को मोबाइल पर वायरल करने वालों पर सीआईडी पैनी नजर रखे हुए है। सीआईडी ने अब तक 5 लोगों को गिरफ्तार किया है। कई लोग जांच के दायरे में है जिनके नामों का खुलासा सीआईडी ने नहीं किया है।