इस्लामपुर काण्ड के खिलाफ प्रदेश भाजपा की प्रस्तावित 26 को बंगाल बंद के मुकाबले को लेकर राज्य सरकार ने कमर कस ली है। राज्यभर में जनजीवन तथा सडक़ परिवहन सामान्य रखने के लिए राज्य प्रशासन हर स्तर पर तैयार रहेगा। शिक्षा मंत्री डॉ. पार्थ चटर्जी की अध्यक्षता में गठित मंत्री समूह ने स्पष्ट कर दिया है कि बंद का मुकाबला करने के लिए प्रशासन पूरी तरह तैयार है। सोमवार को सचिवालय नवान्न में उच्च स्तरीय बैठक के बाद समस्त जिला प्रशासन तथा पुलिस अधीक्षकों को आवश्यक निर्देश दिए गए। बैठक के बाद संवाददाता सम्मेलन में शिक्षा मंत्री डॉ. चटर्जी ने बताया कि भाजपा और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ(आरएसएस) के आह्वान पर बुलाए गए बंद का राज्य पर कोई असर नहीं पड़ेगा। उन्होंने कहा कि बंद के दिन राज्य के समस्त शिक्षण संस्थानों के अलावा राज्य सरकार के समस्त कार्यालय खुले रहेंगे। गैर सरकारी स्कूलों तथा संस्थानों के अलावा व्यवसाइयों को बंद से दूर रहने का आग्रह किया गया है। राज्य प्रशासन हर तरह से सहयोग करेगा। चटर्जी ने बताया कि बंद के नाम पर हिंसा फैलाने पर पुलिस कठोर कार्रवाई करेगी।
सचल रहेगी परिवहन व्यवस्था-
उन्होंने कहा कि बंद के दिन राज्य में सडक़ परिवहन भी सामान्य रखा जाएगा। सरकारी बस सेवा आम दिनों की तरह सामान्य रहेगी। राज्य सरकार ने निजी परिवहन सेवा को भी रोजमर्रा की तरह रखने का आग्रह किया है। शिक्षा मंत्री ने बताया कि बुधवार को हिंसा होने पर पुलिस कार्रवाई करेगी। व्यवसाइयों को सुरक्षा प्रदान करेगी।
उन्होंने कहा कि बंद के दिन राज्य में सडक़ परिवहन भी सामान्य रखा जाएगा। सरकारी बस सेवा आम दिनों की तरह सामान्य रहेगी। राज्य सरकार ने निजी परिवहन सेवा को भी रोजमर्रा की तरह रखने का आग्रह किया है। शिक्षा मंत्री ने बताया कि बुधवार को हिंसा होने पर पुलिस कार्रवाई करेगी। व्यवसाइयों को सुरक्षा प्रदान करेगी।
राज्य सरकार के कर्मचारियों को फरमान-
राज्य प्रशासन ने अपने समस्त कर्मचारियों को बंद के दिन संबंधित कार्यालयों में उपस्थिति रहने को लेकर फरमान जारी किया है। वित्त विभाग ने सोमवार को एक निर्देश में कहा है कि कर्मचारियों के लिए 26 को अपने कार्यालय में उपस्थित रहना अनिवार्य और बाध्यता होगी। आपात स्थिति को छोड़ किसी भी हालत में कर्मचारियों की (आधे या पूरे दिन की) छुट्टी मंजूर नहीं होगी। वित्त विभाग ने स्पष्ट कर दिया है कि बंद के दिन अनुपस्थित होने पर संबंधित कर्मचारी के एक दिन का वेतन काटे जाने के अलावा उसके सेवा काल में एक दिन कम हो जाएगा। इससे पहले कर्मचारी को कारण बताओ नोटिस का जवाब 5 अक्टूबर तक देना अनिवार्य होगा। शिक्षा मंत्री ने बताया कि 24 सितम्बर से पहले अस्पताल में भर्ती रहने वाले, परिवार में किसी के निधन होने, गंभीर रूप से बीमार चल रहे, चाइल्ड केयर लीव या मैटरनिटी लीव पर रहने वाले कर्मचारी सरकारी फरमान से अलग होंगे।
राज्य प्रशासन ने अपने समस्त कर्मचारियों को बंद के दिन संबंधित कार्यालयों में उपस्थिति रहने को लेकर फरमान जारी किया है। वित्त विभाग ने सोमवार को एक निर्देश में कहा है कि कर्मचारियों के लिए 26 को अपने कार्यालय में उपस्थित रहना अनिवार्य और बाध्यता होगी। आपात स्थिति को छोड़ किसी भी हालत में कर्मचारियों की (आधे या पूरे दिन की) छुट्टी मंजूर नहीं होगी। वित्त विभाग ने स्पष्ट कर दिया है कि बंद के दिन अनुपस्थित होने पर संबंधित कर्मचारी के एक दिन का वेतन काटे जाने के अलावा उसके सेवा काल में एक दिन कम हो जाएगा। इससे पहले कर्मचारी को कारण बताओ नोटिस का जवाब 5 अक्टूबर तक देना अनिवार्य होगा। शिक्षा मंत्री ने बताया कि 24 सितम्बर से पहले अस्पताल में भर्ती रहने वाले, परिवार में किसी के निधन होने, गंभीर रूप से बीमार चल रहे, चाइल्ड केयर लीव या मैटरनिटी लीव पर रहने वाले कर्मचारी सरकारी फरमान से अलग होंगे।