तृणमूल में शामिल होने से पहले बटबयाल माकपा के एक जिला समिति सदस्य थे। उनके भाई सुजीत बटबयाल ने कहा कि यह जानकर कि सुप्रभात घर पर नहीं है, रात करीब आठ बजे पांच जने घर में घुसे। उन्होंने घर के लोगों को एक कमरे में कैद कर दिया और बाहर से ताला लगा दिया। फिर बंदूक की नोंक पर उनकी भतीजी को बाहर खींच लिया और उसे एक कार में बिठाकर अपने साथ ले गए।
पीडि़त परिवार ने वारदात के पीछे तृणमूल कांग्रेस के नेताओं का हाथ होने का संदेह जताया है। हालांकि एसपी सिंह ने कहा कि सभी पहलुओं से घटना की जांच हो रही है। अभी तक अपहरण के पीछे कोई राजनीतिक मकसद नहीं मिला है, लेकिन किसी भी संभावना से इन्कार नहीं किया जा सकता है। विस्तृत जांच जारी है।
प्रदेश भाजपा अध्यक्ष दिलीप घोष ने बताया कि पुलिस ठीक ढंग से काम नहीं कर रही है। अभी तक अपहृत लडक़ी के बारे में कुछ पता नहीं चल पाया है। लोगों में गुस्सा है।