यह मुआवजा हासिल करने के बारे में पन्नू ने बताया कि उक्त शर्तें पूरी करने वाले किसान परिवार के प्रमुख द्वारा गांव की पंचायत के पास उपलब्ध स्व-घोषणा पत्र में मांगी गई जानकारी भरकर 30 नवंबर 2019 तक पंचायत को दी जाए, जिसकी तस्दीक करने के बाद मुआवजे की राशि योग्य किसान के खाते में आएगी। इस मौके पर पन्नू ने किसानों से अपील भी की कि वह धान के अवशेष को बिल्कुल आग न लगाएं क्योंकि ऐसा करना सीधे तौर पर सुप्रीम कोर्ट के आदेश का उल्लंघन है और यह कदम उठाने वाले किसानों के विरुद्ध सख्त कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।