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आसानी से शरीर में दाखिल हो रहा हेपेटाइटिस बी का वायरस

locationकानपुरPublished: May 12, 2019 01:25:23 pm

– पहले से नहीं दिख रहे लक्षण, सीधे खराब हो रहा लिवर- खून की जांच कराने पर ही चल रहा बीमारी का पता

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आसानी से शरीर में दाखिल हो रहा हेपेटाइटिस बी का वायरस

कानपुर। हेपेटाइटिस बी शहर में तेजी से फैल रहा है। केवल हैलट में ही ढाई सौ रोगी हेपेटाइटिस बी से पीडि़त हैं, लेकिन खास बात यह है कि यह वायरस चोरी से लोगों के शरीर में प्रवेश कर रहा है और इसका पता तब चल रहा जब किसी और बीमारी के चलते खून की जांच कराई जाए। कई मामलों में तो जब तक पता चला तब तक काफी देर हो चुकी है।
एचआईवी की तर्ज पर फैल रहा संक्रमण
हेपेटाइटिस बी का संक्रमण बिल्कुल एचआईवी की तरह फैल रहा है। जिस तरह संक्रमित उपकरण के प्रयोग या संक्रमित खून चढ़वाने के अलावा असुरक्षित यौन संबंध से एचआईवी का संक्रमण फैलता है, एचआईवी संक्रमण के लिए भी यही कारण जिम्मेदार होते हैं।
दांत निकलवाने या टैटू गुदवाने से पहले सावधानी
अगर आप किसी क्लीनिक पर दांत का इलाज कराने या फिर कहीं टैटू गुदवाने गए हैं तो उपकरण को लेकर सावधान रहें। अगर उपकरण संक्रमित हुआ तो आप चपेट में आ सकते हैं। इंजेक्शन लगवाते समय भी हमेशा नई सिरिंज का ही इस्तेमाल करें।
दूसरी बीमारी की जांच में खुला सच
एक मरीज जब गैस्ट्रो पेन क्लीनिक में इलाज के लिए अपनी जांच रिपोर्ट लेकर पहुंचा तो उसमें हेपेटाइटिस बी निकला। इसी तरह हैलट में हार्निया की सर्जरी कराने आए मरीज की जांच कराई गई तो वह भी हेपेटाइटिस बी से पीडि़त मिला। एक मरीज को हीट स्ट्रोक के चलते उल्टियां हुईं तो उसकी जांच कराई गई, जिसमें पता चला कि उसे हेपेटाइटिस बी का संक्रमण है। उसका लिवर खराब हो चुका था।
तेजी से खराब हो रहा लिवर
मेडिकल कॉलेज के गैस्ट्रोइंटोलोजिस्ट विभाग के डॉ. विनय कुमार का कहना है कि हेपेटाइटिस बी के रोगियों की संख्या हेपेटाइटिस सी के मुकाबले चार गुना ज्यादा है। जब रोगी दूसरी बीमारी के इलाज के लिए जांच कराते हैं तो इसका पता चलता है, देरी होने पर कई मरीजों का लिवर भी खराब हो जाता है।

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