पेट्रोलियम मंत्रालय ने वर्ष 2015 में डायरेक्टर बेनिफिट ट्रांसफर स्कीम (डीबीटीएल) लागू की। इसके बाद सब्सिडी सहित सिलेण्डर की कीमत उपभोक्ताओं से ली जाने लगी। सिलेण्डर पर मिल रही सब्सिडी को उपभोक्ताओं के बैंक खाते में डाला जा रहा है। सरकार की योजना घरेलू गैस पर धीरे धीरे सब्सिडी को खत्म करना है। इसकी वजह से पेट्रोलियम मंत्रालय हर महीने धीरे-धीरे करके सिलेण्डर की कीमत बढ़ा रहा है। तीन साल पहले 350 में मिलने वाला सिलेण्डर अब 948 रुपए में मिल रहा है। हालांकि सरकार सिलेण्डर की कीमत बढ़ाने के साथ-साथ सब्सिडी भी बढ़ा रही है कि लेकिन सिलेण्डर के लिए एक हजार रुपए एक साथ देना उपभोक्ताओं पर भारी पड़ रहा है।
हॉकर परेशान
पिछले ढाई महीनों में सिलेण्डर की कीमत आठ सौ रुपए के पार कर जाने से उपभोक्ताओं की डिमाण्ड कम हो गई है। कई घरों से सिलेण्डर रिटर्न हो रहे हैं। दिवाली के मौके पर उपभोक्ताओं ने जरुर सिलेण्डर लिए लेकिन उसके बाद में कुछ घरों से सिलेण्डर रिटर्न हो गए। इससे हॉकर भी परेशान हो गए हैं। सबसे अधिक भार ऐसे लोगों पर पड़ रहा है जो बगैर कनेक्शन के सिलेण्डर खरीदते हैं। ऐसे लोगों को सीधी-सीधी एक हजार रुपए की चपत लग रही है। सब्सिडी का मैसेज नहीं मिलने से भी परेशानी एक तो सिलेण्डर इतना महंगा और उस पर अगर खाते में सब्सिडी की सूचना नहीं मिले तो उपभोक्ताओं की सांसें अटकना लाजमी है। शहर की गैस एजेंसियों पर उपभोक्ता आए दिन यह शिकायत लेकर पहुंच रहे हैं। दरअसल उपभोक्ताओं के खाते में सब्सिडी की जानकारी बैंक द्वारा एसएमएस से दी जाती है। बैंकिंग क्रियाकलाप में आए दिन परिवर्तन आने से कई उपभोक्ताओं को सब्सिडी की जानकारी नहीं मिलती है। करीब चार सौ रुपए की सब्सिडी होने से परेशान उपभोक्ता बैंक की बजाय गैस एजेंसी पहुंचता है। गैस एजेंसी संचालक ऑनलाइन डाटा बताकर ग्राहक को संतुष्ट करते हैं।
पिछले ढाई महीनों में सिलेण्डर की कीमत आठ सौ रुपए के पार कर जाने से उपभोक्ताओं की डिमाण्ड कम हो गई है। कई घरों से सिलेण्डर रिटर्न हो रहे हैं। दिवाली के मौके पर उपभोक्ताओं ने जरुर सिलेण्डर लिए लेकिन उसके बाद में कुछ घरों से सिलेण्डर रिटर्न हो गए। इससे हॉकर भी परेशान हो गए हैं। सबसे अधिक भार ऐसे लोगों पर पड़ रहा है जो बगैर कनेक्शन के सिलेण्डर खरीदते हैं। ऐसे लोगों को सीधी-सीधी एक हजार रुपए की चपत लग रही है। सब्सिडी का मैसेज नहीं मिलने से भी परेशानी एक तो सिलेण्डर इतना महंगा और उस पर अगर खाते में सब्सिडी की सूचना नहीं मिले तो उपभोक्ताओं की सांसें अटकना लाजमी है। शहर की गैस एजेंसियों पर उपभोक्ता आए दिन यह शिकायत लेकर पहुंच रहे हैं। दरअसल उपभोक्ताओं के खाते में सब्सिडी की जानकारी बैंक द्वारा एसएमएस से दी जाती है। बैंकिंग क्रियाकलाप में आए दिन परिवर्तन आने से कई उपभोक्ताओं को सब्सिडी की जानकारी नहीं मिलती है। करीब चार सौ रुपए की सब्सिडी होने से परेशान उपभोक्ता बैंक की बजाय गैस एजेंसी पहुंचता है। गैस एजेंसी संचालक ऑनलाइन डाटा बताकर ग्राहक को संतुष्ट करते हैं।
पिछले 4 महीनों में ऐसे बढ़ी कीमत महीना ——- सिलेण्डर की कीमत ——-सब्सिडी
अगस्त ——- 759.52 ——- 293.39
सितम्बर ——- 827.50 ——- 321.92
अक्टूबर ——- 896 ——- 377.08
नवम्बर ——- 948 ——- 434.61
दस फीसदी बुकिंग घटी
पिछले कुछ समय से घरेलू गैस की बुकिंग में दस फीसदी की कमी आई है। सिलेण्डर की कीमत अधिक होने से उपभोक्ताओं को अब परेशानी हो रही है।
माणक चाण्डक, संचालक, मारवाड़ गैस एजेंसी
माणक चाण्डक, संचालक, मारवाड़ गैस एजेंसी