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बार कौंसिल चेयरमैन और कार्यकारी समिति में विवाद गहराया

locationजोधपुरPublished: Jul 21, 2019 10:49:09 pm

Submitted by:

yamuna soni

 
बार कौंसिल ऑफ राजस्थान (bar council of rajasthan) की कार्यकारी समिति (executive committee of bar council)की रविवार को आयोजित बैठक में चेयरमैन चिरंजीलाल सैनी की कई मुद्दों पर निंदा करने के साथ ही सचिव को कहा है कि चेयरमैन के विधि विरुद्ध दिए आदेशों की पालना नहीं की जाए। दरअसल, चेयरमैन ने शनिवार को कार्यकारी समिति भंग करने के आदेश जारी किए थे।उपाध्यक्ष और समन्वयक जीडी बंसल की अध्यक्षता में आयोजित बैठक में कार्यकारी समिति सदस्यों सहित चौदह सदस्यों ने इस आदेश को अवैधानिक बताते हुए निरस्त कर दिया।

Bar Council chairman and executive committee fights controversy

बार कौंसिल चेयरमैन और कार्यकारी समिति में विवाद गहराया

चेयरमैन के समिति भंग करने के आदेश को अवैधानिक बताते हुए किया निरस्त

जोधपुर. बार कौंसिल ऑफ राजस्थान bar council of rajasthan की कार्यकारी समिति की रविवार को आयोजित बैठक में चेयरमैन चिरंजीलाल सैनी की कई मुद्दों पर निंदा करने के साथ ही सचिव को कहा है कि चेयरमैन के विधि विरुद्ध दिए आदेशों की पालना नहीं की जाए। दरअसल, चेयरमैन ने शनिवार को कार्यकारी समिति भंग करने के आदेश जारी किए थे।उपाध्यक्ष और समन्वयक जीडी बंसल की अध्यक्षता में आयोजित बैठक में कार्यकारी समिति सदस्यों सहित चौदह सदस्यों ने इस आदेश को अवैधानिक बताते हुए निरस्त कर दिया।


बैठक में चेयरमैन की इस बात के लिए निंदा की गई कि उन्होंने जयपुर में अधिवक्ता भवन की दीवार गिराने के संबंध में संजय जैन के खिलाफ दर्ज एफआइआर पर पुलिस से राजीनामा करवाते हुए अंतिम प्रतिवेदन पेश करवा दिया।
इस मामले में सक्षम न्यायालय में प्रोटेस्ट पिटीशन दायर करने और दीवार निर्माण के लिए तीन सदस्यों की एक समिति बनाई गई।

अतिरिक्त महाधिवक्ता को हटाने की मांग

चेयरमैन ने 13 जुलाई को अपने अतिरिक्त महाधिवक्ता पद का कथित दुरुपयोग करते हुए बार कौंसिल के जोधपुर कार्यालय को सीज करवाने का प्रयास किया। इसे दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए सदस्यों ने मुख्यमंत्री से सैनी को तुरंत प्रभाव से अतिरिक्त महाधिवक्ता पद से हटाने की मांग की।
धन के दुरुपयोग का आरोप

चेयरमैन ने कौंसिल में बिना कोई पद स्वीकृत करवाए और कार्यकारी समिति या साधारण सभा के प्रस्ताव के बिना हिन्दी-अंग्रेजी अनुवादक की नियुक्ति का प्रयास किया।

इसके लिए अखबार में विज्ञापन जारी करवाकर कौंसिल के धन का दुरुपयोग किया गया। चेयरमैन द्वारा व्यक्तिगत कार्यों के लिए दो लेपटॉप खरीदने और अधिवक्ताओं को संदेश भेजने के लिए ५ लाख संदेश बार कौंसिल के कोष से खरीदने का प्रयास किया।
सचिव के खिलाफ कोई शिकायत नहीं

चेयरमैन ने कौंसिल सचिव के खिलाफ पद का दुरुपयोग, वित्तीय अनियमितता और भ्रष्टाचार के आरोप लगाए थे। कार्यकरी समिति की बैठक में इस संबंध में शिकायत पत्रों को पेश करने को कहा गया तो कार्यालय द्वारा ऐसी कोई शिकायत प्राप्त होना नहीं बताया गया।
समिति ने कहा कि चेयरमैन के इस कृत्य से सम्माानित संस्था की प्रतिष्ठा को आघात पहुंचा है। इस मामले में समिति ने सर्वसम्मति से चेयरमैन को नोटिस देने का निर्णय किया है। उनसे कहा जाएगा कि यदि उनके पास कोई शिकायत है तो तीन दिन में कौंसिल को दी जाए।
विपरीत आपत्तियों पर सहमति दे दी

बैठक में बताया गया कि कांैसिल ने अधिवक्ता कल्याण कोष अधिनियम में संशोधन के प्रस्ताव पारित कर सरकार को भेजे थे। विधि विभाग ने 15 जुलाई संशोधन प्रस्ताव के बारे में कुछ आपत्तियां चेयरमैन को बताई।
समिति का आरोप है कि चेयरमैन ने आपत्तियोंं को स्वीकार कर सचिव को संशोधित प्रस्ताव भेजने के के लिए वाट्सएप पर संदेश भेजा। जबकि यह संशोधन केवल साधारण सभा ही कर सकती है।

सीसीटीवी के भुगतान का दबाव
समिति का आरोप है कि जयपुर में अधिवक्ता भवन में घटिया किस्म के सीसीटीवी कैमरे लगाए गए। चेयरमैन ने घटिया कैमरों के भुगतान का दबाव बनाया। समिति ने कैमरों की जांच करवाने का फैसला किया है।
‘कार्यकारी समिति शनिवार को ही भंग कर दी गई थी। ऐसा करने का उनका अधिकार है। इसके बाद रविवार को बैठक कर उनके विरुद्ध बेबुनियाद और द्वेषभावना से आरोप लगाए गए हैं।जबकि बैठक को स्थगित करने के निर्देश दिए गए थे।कार्यकारी समिति इसलिए भंग की गई, क्योंकि सदस्य मनमाना और बार कौंसिल के हितों के ख़िलाफ़ काम कर रहे थे।
चिरंजीलाल सैनी, चेयरमैन बार कौंसिल राजस्थान (Chrinjilal Saini, chairman of bar council of rajasthan)।
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