सूत्रों के मुताबिक आम आदमी पार्टी अपनी कैंपेन के जरिये कांग्रेस और इनेलो के परंपरागत मतदाताओं को बताएगी कि मौजूदा हालात में कांग्रेस और इनेलो, भाजपा को नहीं हरा सकते। अगर बीजेपी के कुशासन से मुक्ति पानी है तो हरियाणा के लोगों को नये विकल्प की तरफ ही देखना होगा।
जींद उप-चुनाव के बाद आम आदमी पार्टी की यह रणनीति कारगर हो सकती है। जींद में आम आदमी पार्टी समर्थित जननायक जनता पार्टी के दिग्विजय चौटाला भले ही दूसरे स्थान पर रहे हों लेकिन उन्होंने कांग्रेस के हैवीवेट और राहुल गांधी के करीबी रणदीप सुरजेवाला को तीसरे स्थान पर पहुंचा दिया। सुरजेवाला महज 932 वोट से अपनी जमानत बचा पाए। वहीं, इनेलो के प्रत्याशी उमेद सिंह रेढू को तो जींद में केवल 3454 वोट मिले। ऐसे में, अगर आम आदमी पार्टी कांग्रेस और इनेलो के मतदाताओं के पास जाकर यह कैंपेन करती है, तो नए समीकरण बन सकते हैं।
हरियाणा 2014 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस सत्ता से सीधे तीसरे स्थान पर आ गई। सत्ता से बाहर होते ही पार्टी के भीतर की गुटबाजी सडक़ पर आ गई। हरियाणा में कांग्रेस कई गुटों में बंटी हुई है। उप-चुनाव में सुरजेवाला की हार के बाद कांग्रेस में अंदरूनी झगड़े और बढ़ेंगे। सुरजेवाला ने खुद भीतरघात की बात स्वीकारी है और कैथल में कहा कि जिस कांग्रेसी ने मां को धोखा दिया वह कभी सत्ता में नहीं लौटे। कांग्रेस ने जमीनी हकीकत समझे बिना अति उत्साह में अपने एक बड़े दिग्गज नेता को उपचुनाव में उतार कर फजीहत करवा ली। इससे कांग्रेस के कार्यकर्ताओं व पार्टी काडर से जुड़े मतदाताओं का मनोबल गिरा हुआ है। लेकिन अब भी कांग्रेस के मतदाताओं की प्राथमिकता बीजेपी को सत्ता से हटाने की ही रहेगी। ऐसे में अगर कांग्रेस के पारंपरिक मतदाताओं को यह भरोसा हो गया कि आम आदमी पार्टी, हरियाणा में बीजेपी को सत्ता से बाहर कर सकती है तो वह केजरीवाल के साथ आ सकते हैं।
हरियाणा की राजनीति के जानकार डॉ.सतीश त्यागी कहते हैं कि पारिवारिक झगड़े और ओम प्रकाश चौटाला के जेल में होने के कारण इनेलो का अस्तित्व लगभग खत्म होने के कगार पर है। इनेलो का हार्ड कोर वोटर, बीजेपी विरोधी है। ऐसे में जो भी बीजेपी को हराता हुआ दिखेगा, इनेलो का वोटर उस तरफ शिफ्ट हो जाएगा। अगर आम आदमी पार्टी, इनेलो के वोटर्स को यह समझाने में कामयाब हो गई तो निश्चित रूप से हरियाणा में बाजी पलट सकती है।
आम आदमी पार्टी हरियाणा के प्रदेश अध्यक्ष नवीन जयहिंद के अनुसार कांग्रेस में गृहयुद्ध चल रहा है। कांग्रेस के नेता बीजेपी को हराने के बजाय अपनी ही पार्टी के नेताओं को निपटाने में लगे हुए हैं। इनेलो का अस्तित्व खत्म हो चुका है। हरियाणा के लोग खट्टर के कुशासन से दुखी हैं। ऐसे में हरियाणा के लोग आम आदमी पार्टी को एक विकल्प के रूप में देख रहे हैं।