प्रवक्ता अत्रे ने पत्रकारों से बातचीत में कहा कि पार्टी के संविधान के अनुच्छेद नौ की धारा चार और पांच के अनुसार जींद में बुलाई गई बैठक असंवैधानिक है। उन्होंने कहा कि इन धाराओं के अनुसार प्रदेश कार्यकारिणी की बैठक बुलाने का अधिकार सिर्फ प्रदेश अध्यक्ष या फिर राष्ट्रीय अध्यक्ष और राष्ट्रीय अध्यक्ष द्वारा अधिकृत किसी व्यक्ति को ही बुलाने का अधिकार है। इस सवाल पर कि क्या अनधिकृत तौर पर बुलाई गई बैठक में शामिल होने वालों पर कोई कार्रवाई की जाएगी,प्रवक्ता ने कहा कि इस मामले में राष्ट्रीय अध्यक्ष ओपी चौटाला या अनुशासन समिति के अध्यक्ष करेंगे।
अजय सिंह खेमे द्वारा अपने को पार्टी का प्राथमिक सदस्य भी न होना बताए जाने पर प्रवक्ता ने कहा कि वे तो ऐसे समय में पार्टी से जुडे थे जबकि शीर्ष नेताओं को सजा सुनाई गई थी जबकि कुछ लोग तो इस बात के लिए लड्डू बांट रहे थे कि अब पार्टी टूट जायेगी।
दूसरी ओर पार्टी के प्रदेश सेकेट्री जनरल के बतौर जींद में बुलाई गई प्रदेश कार्यकारिणी की बैठक के लिए अजय सिंह चौटाला ने निमंत्रण पत्र जारी किए है। पार्टी की बैठक में भाग लेने वालों को कहा गया है कि वे पूर्व सूचना भेजें। साथ ही बैठक में भाग न लेने वालों पर कार्रवाई की चेतावनी भी दी गई है।
इंडियन नेशनल लोकदल में पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री ओपी चौटाला के दोनों पुत्र अजय सिंह चौटाला और अभय सिंह चौटाला के बीच खेमेबंदी चल रही है। दोनों के बीच वर्चस्व की जंग जारी है। इसके चलते अजय सिंह चौटाला के हिसार से सांसद पुत्र दुष्यंत चौटाला और छात्र संगठन इनसो के राष्ट्रीय अध्यक्ष दुष्यंत के छोटे भाई दिग्विजय चौटाला को पार्टी से निकाला गया है। अब जींद बैठक को असंवैधानिक घोषित किए जाने के बाद अजय सिंह चौटाला पर भी कार्रवाई किए जाने के आसार है।
दूसरी ओर इस बात की भी चर्चा है कि पार्टी के संस्थापक पूर्व उपप्रधानमंत्री चौधरी देवीलाल के मित्र पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल मध्यस्थता कर दोनों भाइयों के बीच सुलह कराने का प्रयास कर रहे है। दोनों भाइयों की बादल के साथ बैठक संभावित है।