10 माह में संसार से विदा हुआ हितेष, खुली आंखों से निहारता रहा मां को
जालोरPublished: Aug 18, 2019 10:55:47 am
आपसी रंजिश को लेकर मासूम की हत्या का मामला दर्ज
आपसी रंजिश को लेकर मासूम की हत्या का मामला दर्ज
जालोर/ चितलवाना. लाड़ले की अठखेलियां और नटखटपन से पूरा परिवार खुशी से झूम उठता था। 10 माह में ही हितेष सभी की आंखों का तारा बन गया था। अपनी मां के आंचल में ही उसे सारा संसार दिख रहा था और माता बसंती के लिए लाड़ले की मुस्कान से ज्यादा सुकून वाला पल और कोई नहीं होता था। इस मासूमियत के बीच ही हितेष को मौत ने अपने आगोश में ले लिया और परिवार को शोक में डुबो दिया। जिस मां ने 9 माह तक अपनी कोख में उसे सहेजा और 10 माह तक लालन पालन किया, उसी मां के हाथों में नन्हे हितेष का शव हर किसी को भावुकता में जकड़ रहा था। मां की आंखों से आंसू थमने का नाम नहीं ले रहे और उसे विश्वास नहीं हो रहा था कि आखिर कैसे उसका लाड़ला इस संसार को छोड़कर इस कदर विदा हो सकता है। इस हृदयविदारक घटनाक्रम ने पूरे क्षेत्रवासियों को झकझोर कर रख दिया। मामले में झाब थाना क्षेत्र के देवड़ा गांव में एक 10 माह के मासूम की हत्या का प्रकरण दर्ज हुआ है। रिपोर्ट के अनुसार आपसी विवाद में मासूम की हत्या की गई है। पुलिस के अनुसार देवड़ा निवासी बसन्ती देवी पत्नी जेताराम गर्ग ने रिपोर्ट पेश कर बताया कि उसके व केसाराम पुत्र भावाराम कलबी निवासी बागली के लाइट व बोरिंग का काम आधा आधा खर्चा लगाकर करवाया गया था और यह सौदा तीन साल के लिए तय हुआ था। लेकिन केसाराम ने उक्त सौदा मनमर्जी से रद्द कर दिया तथा ट्यूबवैल पर लगी मोटर को 10 अगस्त को जला दिया। जिस पर 14 अगस्त को शाम को करीब 7 बजे केसाराम के खेत बागली की सरहद में गई। इस दौरान उसका 10 माह का मासूम पुत्र हितेष, पति जेताराम और देवर प्रभुराम भी उसके साथ था। इस दौरान जब मनमर्जी करने पर केसाराम लताड़ लगाई तो केसाराम व उसके पास खड़े उसके भाई हकमाराम पुत्र अचलाराम निवासी निंबाऊ व लीलाराम पुत्र भावाराम समेत अन्य ने उनके साथ अभद्र व्यवहार किया और मारपीट की। आरोप है कि इस दौरान उसके नाबालिग पुत्र हितेष को हाथों से खींचकर खेत में फैंक दिया। जिससे उसके हाथ पर चोट लगने के साथ साथ अंदरुनी चोटें भी आई। हितेष को अधिक चोटें लगने और हालत गंभीर होने पर उसे उपचार के लिए डीसा लेकर गए, जहां उसकी 17 अगस्त सवेरे मौत हो गई।