आलोक शर्मा के बेटे शुभम ने बताया कि उसकी मां सुभाष नगर स्थित एसबीआई बैंक शाखा में बाउंस हुए चेक की जानकारी लेने पहुंची, तब वहां उपस्थित बैंक कर्मी ने चेक संबंधित जानकारी नहीं होना बताया। जबकि बैंक स्टेटमेंट में चेक बाउंस होने पर 177 रुपए कट जाना बताया गया है। जबकि इससे पहले बाउंस हुए चेक की जानकारी बैंक वालों के पास है।
बेटे ने आरोप लगाया कि पिता ने सुसाइड नोट में जिस 50 लाख के चेक का जिक्र कर रखा है, उसकी जानकारी बैंक कर्मी दे ही नहीं रहे हैं। जबकि पिता के दफ्तर में सामान खुर्द बुर्द कर दिए जाने से बाउंस चेक भी खुर्द बुर्द कर दिया गया। हालांकि उनके पास बाउंस चेक की प्रतिलिपि है। बेटे ने आरोप लगाया कि पुलिस आरोपियों को सबूत खुर्द बुर्द करने का पूरा मौका दे रही है। इससे पहले पिता का दफ्तर में रखा कम्न्प्यूटर और कमरा भी खाली कर दिया गया।
हालांकि पुलिस (
Jaipur Police Investigation ) समय रहते कदम उठा लेती तो पिता का आत्महत्या के लिए उकसाने वालों के खिलाफ बहुत अधिक सबूत मिलते। लेकिन पुलिस ने पिता के सुसाइड नोट नोट में उनकके साथ 40 अन्य लोगों को रुपए नहीं देने की जानकारी को गलत साबित करने के लिए आरोपियों से सभी को रकम दिलवा दी। जबकि यह रकम हाल ही चेक के जरिए दी गई है। यह भी एक बड़ा सबूत है। उसने कहा कि आखिरकार पुलिस कौनसे सबूतों के इंतजार में बैठी है।