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बोले छात्र : युवाओं को मिले रोजगार, कोई न रहे बेरोजगार

locationजबलपुरPublished: Mar 25, 2019 10:33:18 pm

Submitted by:

Mayank Kumar Sahu

पत्रिका मुद्दा में बोले छात्र, युवाओ को रोजगार का हर कोई वादा तो करता है लेकिन निभाता कोई नहीं, छात्रों ने बेबाकी से रखे विचार

Students speaking : Youth get jobs, no unemployed

Students speaking : Youth get jobs, no unemployed

जबलपुर।

कॉलेज की पढ़ाई पूरी करने के बाद भी छात्र बेरोजगार है। सरकारे युवाओं को रोजगार देने के लिए वादे तो खूब करती हैं लकिन रोजगार दिलाने की दिशा में प्रभावी कार्रवाई नहीं करती हैं। आज युवा डिग्री लेकर बेरोजगारों की लाइन में खड़ा है। कॉलेज स्तर के पाठयक्रमों को रोजगारमूलक बनाने की आवश्यकता है ताकि छात्र पढ़ाई के साथ ही रोजगार से जुड़ सके। कॉलेजों में इंफ्रास्ट्रक्चर सुधारा जाए ताकि छात्र पढ़ाई के लिए दूसरे शहरों के लिए पलायन न कर सकें। कुछ एेसे ही विचार शासकीय कला एवं वाणिज्य महाविद्यालय के छात्रों युवाओं ने ‘पत्रिका मुद्दा’ के माध्यम से बेबाकी के साथ अपने विचार रखे।

कॉलेजों में दी जाए रोजगार परख शिक्षा

एमए प्रथम वर्ष के छात्र मोहम्मद अलताफ ने कहा कि कॉलेजों में जो शिक्षा दी जा रही है वह सैद्धांतिक एवं व्यवहारिक शिक्षा तक सीमित है जबकि अब युवाओं को अपने पैरों पर खड़ा होने के लिए रोजगार परख शिक्ष दिए जाने की आवश्यकता है। इस दिशा में सरकार, उच्च शिक्षा विभाग को पहल करने की जरूरत है। छात्र अजय अहिरवार ने कहा कि कॉलेज कैम्पस में युवाओं का सीधे सिलेक्शन होना चाहिए। एेसी सुविधा उपलब्ध कराई जाए।

प्रोफेसरों को दीगर कामों से करो मुक्त

बीकाम की छात्रा अपराजिता तिवारी ने कहा कि प्रोफेसरों को शिक्षण कार्य के अलावा दीगर कामों में लगा दिया जाता है जिससे न तो साल भर ठीक से पढ़ाई हो पाती है न ही कोर्स पूरा हो पाता है। इससे पढ़ाई का भी नुकसान होता है। शिक्षकों को इससे मुक्त रखा जाए।युवाओं को क्या करना कोई नहीं बताता बीए की छात्रा वंशिका कुशवाहा, सोनाली, अजय अहिरवार ने कहा कि सरकारे युवाओं को रोजगार दिलाने की बातें तो खूब करती हैं लेकिन कोई यह नहीं बताता कि युवाओं को करना क्या चाहिए। सरकार से अपेक्षा है कि ग्रेज्युशन के बाद कोई भी युवा बेरोजगार न रहे एेसी पॉलिसी बनाई जाए। शशिकांत का कहना था कि रोजगार के अवसर बढ़ाए जाने की आवश्यकता है ताकि छात्रों का पलायन रुक सके।

गरीब वर्ग के लिए हो वाहन सुविधा

छात्र रोहित गुप्ता का दर्द था कि शासकीय कॉलेज शहर से दूर हैं। कई छात्र गरीब परिस्थिति से जुड़े होते हैं। एेसे छात्रों के लिए परिवहन की व्यवस्था नि:शुल्क उपलब्ध कराई जाए ताकि वे अध्ययन कर सकें। एमए छात्र विधी यादव, सुलेखा चौधरी ने कहा कि छात्राओं की सुरक्षा के कॉलेजों एवं बाहर माकूल प्रबंध होने चाहिए। छात्राओं के लिए अलग से व्यवसायिक पाठयक्रमों का समावेश हो।

शिक्षा का बने कॉलेजों में माहौल

छात्रा प्रियंका सिंह आलिया, प्रतिभा तिवारी, निकिता का दर्द था कि कॉलेजों में पढ़ाई का माहौल बनाने की आवश्यकता है जो वर्तमान में कहीं न कहीं कमी है। कॉलेजों के प्रति छात्रों में आकर्षण बढाया जाना चाहिए। छात्र अक्षय वैद्य ने कहा कि कॉलेजों में स्पोटर्स कोटा नहीं है। कई छात्र खेल से जुड़े हैं लेकिन इनके लिए स्पेशल ट्रेनिंग जैसी कोई व्यवस्था नहीं है।

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