जबलपुरPublished: Apr 16, 2019 01:21:49 am
prashant gadgil
राज्य सरकार ने बताया, हाईकोर्ट ने अवैध ऑटो रिक्शों पर कार्रवाई जारी रखने के दिए निर्देश
mp high court
जबलपुर। मप्र हाईकोर्ट में राज्य सरकार ने जानकारी दी कि जबलपुर के बेलगाम ऑटो रिक्शों की धमाचौकड़ी रोककर उनके नियमानुसार संचालन के लिए इंटरनेशनल एक्सपर्ट बॉडी की मदद ली जाएगी। इसके लिए टेंडर बुलाए जाएंगे। कोर्ट द्वारा गठित अधिकारियों की एक्सपर्ट समिति इस समस्या का निदान नहीं खोज सकी। जस्टिस आरएस झा एवं जस्टिस संजय द्विवेदी की डिवीजन बेंच ने सरकार से अवैध ऑटो रिक्शों के खिलाफ कार्रवाई जारी रखने को कहा। चार सप्ताह बाद फिर सुनवाई होगी। कोर्ट ने 20 मार्च को हुई सुनवाई में राज्य सरकार को 10 दिन में ओवरलोडिंग रोकने और अवैध ऑटोरिक्शों के खिलाफ कार्रवाई करने के निर्देश दिए थे। कोर्ट ने कहा थाा कि एेसा न होने की सूरत में जबलपुर में ऑटो रिक्शा बंद करने का आदेश दे सकती है। कहा था कि पूरे शहर में मॉडीफाइड ऑटो रिक्शे दौड़ रहे हैं। अतिरिक्त सवारियां ठूंस-ठूंस कर ढोई जा रही हैं। ऑटो रिक्शा वाले मनमानी तरीके से कहीं भी रोक रहे हैं। भाड़ा तालिका समुचित व निर्देर्शित जगहों पर नहीं लगाए गए हैं। निर्धारित रुट के मुताबिक ही ऑटो रिक्शों का संचालन किया जाए। कलर कोडिंग व रुट नियमों का सख्ती से पालन हो। एेसा न करने वालों पर कड़ी कार्रवाई की जाए।
यह है मामला
दो विभिन्न जनहित याचिकाओं व एक अवमानना याचिका में कहा गया कि शहर में चल रहे ऑटो रिक्शा कॉंट्रैक्ट कैरिज परमिट की शर्तों का उल्लंघन कर रहे हैं। इन अवैध ऑटो रिक्शों व इनकी धमाचौकड़ी पर नियंत्रण करने के लिए प्रभावी कदम नहीं उठाए जा रहे हैं। ऑटोरिक्शों की मनमानी पर लगाम लगाई जाए। ओवरलोडिंग रोकी जाए। किराया सूची सार्वजनिक स्थलों पर चस्पा की जाए। जगह-जगह सवारियां चढ़ाने-उतारने की बजाय रुट व स्टॉप फिक्स किए जाएं। अधिवक्ता सतीश वर्मा ने कोर्ट को बताया कि अभी भी पूरे शहर में ओवरलोडिंग धड़ल्ले से जारी है। 10-15 सवारी मॉडिफाइड ऑटो में बैठाई जा रही हंै। इसके चलते सवारियों के साथ जेबकटी की घटनाएं हो रही हैं। उन्होंने हाल ही में हुई एक घटना का उदाहरण दिया।
बैठक में नहीं निकला हल
राज्य सरकार की ओर से बताया गया कि जबलपुर के औटो रिक्शों की समस्या के निदान के लिए महाधिवक्ता सभी संबंधित अधिकारियों की बैठक २ अप्रैल को बुलाई गई थी। बैठक में समस्या का कोई समुचित निदान नहीं खोजा जा सका। एक्सपर्ट कमेटी भी इस समस्या पर नियंत्रण का उपाय नहीं निकाल सकी। इसकी जानकारी प्रदेश स्तर पर भी दी गई। लिहाजा अब इसके हल के लिए इंटरनेशनल एक्सपर्ट बॉडी की मदद ली जाएगी। इसके लिए टेंडर आमंत्रित किए जा रहे हैं। इस पर कोर्ट ने सरकार को निर्देश दिए कि चार सप्ताह बाद टेंडर के संबंध मे अपडेट दिया जाए। इस दौरान पूर्व निर्देशानुसार अवैध ऑटो रिक्शों के खिलाफ कार्रवाई जारी रखी जाए।