जबलपुरPublished: Jul 14, 2019 06:56:55 pm
shyam bihari
जबलपुर के पाटन थाना क्षेत्र में दिल दहलाने वाली वारदात के बाद भी गांव वाले जता रहे थे आरोपी के प्रति सहानुभूति
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जबलपुर। अपनी ही बेटी की गर्दन कुल्हाड़ी से काट दी। आराम से चहलकदमी करते हुए पास के तालाब के तक जाता है। वहां कुछ देर बैठा रहता है। फिर वापस घर आता है। चारपाई पर बैठकर बेफिकरी के अंदाज में बीड़ी पीने लगता है। उसके चेहरे पर पछतावा नहीं था। पुलिस कार्रवाई का डर नहीं था। किसी भी आरोपी की ऐसी तस्वीर कई बातें एक साथ कह जाती है। आखिर समाज का यह कौन सा रूप है? तीन बच्चियों की मां की लाश देखकर भले ही अनजान लोग सहम गए हों, लेकिन गांव वाले आरोपी पिता के साथ सहानुभूति जता रहे थे। हालांकि, कानून की नजर में पिता प्राथमिक रूप से हत्यारा है। उस पर हत्या का मामला दर्ज किया गया है।
पाटन थाना सकरा गांव। आमतौर पर शहरी तड़क-भड़क से बेहद दूर। वहां की 30 साल की गुल्लो उर्फ त्रिवेणी तीन साल से अपने पिता रवि गौड़ के घर में रहती थी। उसकी तीन बेटियां हैं। शुक्रवार रात वह घर से बिना किसी को कुछ बताए कहीं चली गई थी। रात में बच्चों के रोने पर रवि की नींद टूटी, तो गुल्लो के बारे में पूछा। पता चला कि वह घर में नहीं है। रवि पूरी रात गुल्लो के लौटने के इंतजार में बैठा रहा। सुबह 5.30 बजे गुल्लो घर आती दिखी। पास की गली में ही थी कि गुस्से तमतमाया रवि उसके पास जा पहुंचा। जो बेटी कभी उसकी दुलारी थी, उसकी गर्दन कुल्हाड़ी से काट दी। गुल्लो की सांसें थम गईं।
हत्या की सनसनीखेज खबर जंगल में आग की तरह फैल गई। पूरा गांव जमा हो गया। पुलिस पहुंची, तो रवि कुल्हाड़ी पास में रखकर बिना किसी डर के बीड़ी पी रहा था। पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर खून से सनी कुल्हाड़ी जब्त की। हालांकि, पूरा गांव बेटी की हत्या करने वाले रवि का पक्ष ले रहा था। कारण जो भी रहा हो, बेटी की हत्या कर देना वीभत्स था। फिर भी गांव वालों का कहना था कि रवि अभागा बाप है। वह मजबूर हो गया था। कई बार बेटी को समझाया, लेकिन उसकी आदतों में सुधार नहीं हुआ।