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अगर अमरीका के यही रहे हालात, तो मुश्किल में आ जाएंगी भारत की IT कंपनियां

locationनई दिल्लीPublished: Jan 06, 2019 04:28:55 pm

Submitted by:

Dimple Alawadhi

अमरीका में स्लोडाउन की आशंका गहराती जा रही है। ऐसे में आईटी कंपनियों का राजस्व कम होने की आशंका है। अमरीकी स्लोडाउन का असर टीसीएस, इंफोसिस, एचसीएल टेक्नोलॉजी, विप्रो और टेक महिंद्रा जैसी भारतीय आईटी कंपनियों के राजस्व पर पड़ेगा।

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अगर अमरीका के यही रहे हालात, तो मुश्किल में आ जाएंगी भारत की IT कंपनियां

नई दिल्ली। अमरीका में स्लोडाउन की आशंका गहराती जा रही है। चीन के साथ बढ़ते व्यापार युद्घ और एपल के राजस्व में गिरावट इसका अहम कारण है। वैश्विक अर्थव्यवस्था प्रभावित होने से इसका प्रभाव तकनीकी दुनिया पर भी दिखता है। ऐसे में आईटी कंपनियों का राजस्व कम होने की आशंका है। अमरीकी स्लोडाउन का असर टीसीएस, इंफोसिस, एचसीएल टेक्नोलॉजी, विप्रो और टेक महिंद्रा जैसी भारतीय आईटी कंपनियों के राजस्व पर पड़ेगा।


IT कंपनियों के शेयरों में गिरावट

अमरीकी स्लोडाउन का असर 2019 में और गहरा सकता है। वैश्विक रेटिंग एजेंसी मॉर्गन स्टेनली ने वर्ष 2019 में 2.3 फीसदी वृद्घि का अनुमान जताया है जो 2018 में 2.9 फीसदी था। गुरुवार को टीसीएस के शेयरों में 1.39 फीसदी और इंफोसिस में 0.26 फीसदी की गिरावट भी देखने को मिली थी। शुक्रवार को निफ्टी पर भी आईटी सूचकांक 1.53 फीसदी नीचे आ गया।


भारतीय कंपनियों की 70 फीसदी कमाई अमरीका से

भारत की पांच बड़ी आईटी कंपनियों की दो तिहाई से ज्यादा कमाई अमरीका से होती है। इसलिए पिछले 12 महीनों के दौरान भारतीय आईटी आउटसोर्सिंग उद्योग वृद्घि कर रहा है। अमेरिका में डिजिटल सेवाओं की मांग बढ़ने से भारतीय आईटी कंपनियों ने भी ज्यादा भर्तियां की और पहली छमाही में 40 फीसदी तक वेतन बढ़ोतरी भी की है।

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