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बंगले वाले गरीबों ने लगाई सरकार को 5 करोड़ की चपत

locationइंदौरPublished: Sep 18, 2018 03:00:09 pm

Submitted by:

amit mandloi

योजना में 56 हजार उपभोक्ताओं को जारी किए बिल, 6 करोड़ की डिमांड में से एक करोड़ रुपए का राजस्व आया

bijli

बंगले वाले गरीबों ने लगाई सरकार को 5 करोड़ की चपत

इंदौर. बंगले वाले गरीबों ने पहले ही माह बिजली कंपनी से 5 करोड़ की सब्सिडी ली। बिजली कंपनी ने पहले माह सरल बिल में जारी किए बिलों से 6 करोड़ रुपए की डिमांड में से एक करोड़ रुपए ही मिले। बंगले में रहने वाले उपभोक्ताओं का रिकार्ड तैयार कर रहा है। असंगठित मजदूर के नाम पर सरल बिल का लाभ लेने वाले 56 हजार उपभोक्ताओं की संख्या दूसरे माह 90 हजार तक पहुंच गई हैं।
पत्रिका की खबर के बाद जागी बिजली कंपनी ने बंगले वाले ऐसे असंगठित मजदूरों की जांच तो प्रारंभ कर दी, लेकिन उनके हाथ में फिलहाल कुछ नहीं है। नगर निगम द्वारा जिस तरह से नियमों से बचाव करते हुए लोगों का असंगठित मजदूर के रूप में रजिस्ट्रेशन कर दिया। जिसका खामियाजा अब बिजली कंपनी को भुगतना पड़ रहा है।
एप तैयार कर रिकॉर्ड बनाने की तैयारी
बंगले वाले गरीबों की शिकायतें मिलने के बाद बिजली कंपनी ने शहर के ऐसे आवेदकों का रिकॉर्ड तैयार करना शुरू कर दिया है, जो बंगले में रहते हैं, लेकिन सरल बिजली योजना का लाभ लेने के लिए असंगठित मजदूर बन गए हैं। जिनका हर माह का बिल ही 2000 रुपए से अधिक का है। बिजली कंपनी अपनी तरफ से पूरा रिकॉर्ड तैयार कर निगम और शासन को भेजने की तैयार रही है। पंजीयन निरस्त करने की कार्रवाई निगम स्तर पर होगी।
62 हजार की माफी के साथ योजना का लाभ
मारूति नगर स्थित भगवान देवलिया ने अपनी बेटी सावित्री का असंगठित मजदूर का रजिस्ट्रेशन लगाकर माफी योजना में जहां 62 हजार से अधिक की राशि माफ करवाई वहीं, सरल बिल योजना का लाभ भी लिया। इनका तीन मंजिला मकान है और हर माह ३ हजार से अधिक का बिल भी आता है। बिजली कंपनी ने जांच में इनके दस्तावेज भी गलत पाए है।
बेटे के नाम लिया योजना का लाभ
मारूति नगर निवासी रामचंद्र पटेल (कुशवाह) की शिकायत मिली थी कि उनका दो मंजिला मकान है। बेटे राजू कुशवाह (पटेल) के नाम पर श्रमिक आईडी है। शिकायत है कि उनके घर पर हर माह लगभग
180 यूनिट बिजली
की खपत है। इसके लिए हर माह 1300 रुपए से अधिक का बिल आता है। उन्हें योजना का लाभ दे दिया गया। कंपनी की जांच में योजना के लिए लगाए उनके सारे दस्तावेज भी गलत पाए गए।
100 यूनिट से अधिक आने पर होगी जांच
सरल बिल योजना में लाभ लेने वाले ऐसे उपभोक्ताओं की जांच की जाएगी जिनकी खपत हर माह 100 यूनिट से अधिक आएगी। बिजली कंपनी ऐसे उपभोक्ताओं पर निगाह रखे हुए हैं, जो इसका लाभ ले रहे हैं।
हम तो योजना का लाभ देने के लिए बाध्य
शासन की योजना के अनुसार जिसके पास नगर निगम से असंगठित मजदूर का रजिस्ट्रेशन हैं, उसे लाभ देने के लिए बाध्य है। ऐसे उपभोक्ताओं की पहचान की जा रही है जो गलत तरीके से योजना का लाभ उठा रहे है। एक एप बनाकर पूरा रिकार्ड तैयार करवाया जा रहा है। रिकार्ड तैयार कर निगम और शासन को सूचना देंगे।
सुब्रतो राय, अधीक्षण यंत्री, मप्र पश्चिम क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी
56000 जुलाई माह में सरल बिल योजना जारी बिल
90000 अगस्त माह में सरल बिल योजना में जारी बिल
103000 अभी तक सरल बिल योजना में रजिस्टर्ड उपभोक्ता
109000 अभी तक माफी योजना में रजिस्टर्ड उपभोक्ता
06 करोड़ रुपए जुलाई में बिजली कंपनी की डिमांड
01 करोड़ सरल बिल योजना में प्राप्त राशि
05 करोड़ रुपए सबसिडी मिली 56 हजार उपभोक्ताओं को

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