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इंदौर

आलू चिप्स बनाने के दौरान निकले दूषित पानी को नाले, कुएं व तालाब में छोड़ रहे, 50 कारखानों की बिजली काटी

-एक जिला एक उत्पादन में आलू चिप्स चयनित, जिसे लेकर सीएम प्रशासन की कर चुके हैं प्रशंसा

इंदौरFeb 27, 2021 / 09:50 pm

Naim khan

आलू चिप्स बनाने के दौरान निकले दूषित पानी को नाले, कुएं व तालाब में छोड़ रहे, 50 कारखानों की बिजली काटी

आलू चिप्स बनाने के दौरान निकले दूषित पानी को नाले, कुएं व तालाब में छोड़ रहे, 50 कारखानों की बिजली काटी



डाॅ. आंबेडकरनगर महू. बीते दिनों एक जिला एक उत्पाद में आलू चिप्स के कारोबार को चयनित किया गया। तो प्रशासन के आला अफसरों ने भी कोदरिया के कारखानों का निरीक्षण किया और उस समय मुख्यमंत्री ने भी पोटेटो चिप्स इंडस्ट्रीज को बढ़ावा देने हेतु मार्केट लिंकेज को लेकर प्रशासन के प्रयास की प्रशंसा की। हालांकि चिप्स कारखानों की स्थिति जुदा है, जिससे फैल रहे प्रदूषण के कारण शनिवार को राजस्व व जनपद की टीम ने 50 कारखानों की बिजली काटी दी। साथ ही ये पाया कि कारखानों से दूषित पानी नाले सहित कुएं व तालाब में भी पानी छोड़ा जा रहा है।
नायब तहसीलदार रितेश जोशी, जनपद इंजीनियर देवेंद्र अग्रवाल सहित पटवारी, कोदरिया सरपंच आदि ने कोदरिया सहित बोरखेड़ी व मलेंडी में चल रहे कारखानों का निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान टीम ने पाया कि कारखाने से निकले पानी के साथ स्टार्च व आलू के छिलके खेतों में नाली बनाकर नाले तक छोड़े जा रहे हैं, जिससे ये पानी नदी में मिल रहा है और प्रदूषण फैल रहा है। जबकि पूर्व में लगातार जनपद की टीम ने कारखाना संचालक को आलू के छिलके व स्टार्च को कारखानों में रोकने की हिदायतें दी थी जिसका पालन होता नजर नहीं आया। बोरखेड़ी में एक कारखानें से तालाब में व कोदरिया में एक कारखाने से निजी कुएं में दूषित पानी छोड़ा जा रहा था। ऐसे कुल 50 कारखाने पाए गए जो निकलने वाले वेस्ट पानी को बिना प्रोसेस किए सीधे नाले, नदी व कुएं में छोड़ रहे थे। जिस पर इन कारखानों की बिजली अस्थायी रूप से काटी गई और जब तक सुधार नहीं किया जाता तब तक बिजली कनेक्शन जोड़ा नहीं जाएगा। खास बात है कि बीते वर्षों में भी प्रदूषण कंट्रोल विभाग भी इसी तरह कारखानों की बिजली कनेक्शन काट चुका है। नायब तहसीलदार ने बताया काफी शिकायतें मिल रही थी, जिस पर निरीक्षण किया तो शिकायतों को सही पाया व 50 कारखानों की बिजली काटी गई है।
बोले नायब तहसीलदार इस पानी से हाथ मुहं धोकर दिखा दोे
कारखानों से दूषित पानी छोड़ने पर नायब तहसीलदार ने कारखाना संचालकों को फटकार भी लगाई। कुछ कारखाना संचालकों ने कहा पिछले हिस्से के दूसरे कारखाने पानी छोड़ रहे तो नायब तहसीलदार ने कहा आप तो अपना पानी तो रोको। कुछ ने कहा पानी तो सभी छोड़ रहे तो दूसरों पर कार्रवाई क्यों नहीं कर रहे, तो कहा गया समान रूप से कार्रवाई की जा रही है। एक कारखाना संचालन ने कहा हम तो पानी फिल्टर कर आगे छोड़ रहे तो नायब तहसीलदार ने कहा आपके कारखाने से जो पानी निकल रहा है है उससे हाथ मुहं धोकर दिखा दो।
हैंडपंप, बोरिंग तक में आ रहा दूषित पानी, बड़ी आबादी है परेशान
कोदरिया के आलू चिप्स कारखानों से निकले दूषित पानी से गुजरखेड़ा से गुजरी आकाश गंगा नदी का पानी काला पड़ गया है, जिसमें मछलियां मरने की स्थिति भी सामने आई। साथ पूरे क्षेत्र में असहनीय बद्बू से बड़ी आबादी परेशान हैं। गुजरखेड़ा सरपंच सत्यवीर वर्मा के अनुसार क्षेत्र के बोरिंग, हैंडपंप तक का पानी दूषित हो रहा है।
लगातार समझाइश दे रहे थे लेकिन कोई मान रही रहा था
जनपद पंचायत के इंजीनियर देवेंद्र अग्रवाल ने बताया मैं बीते 15 दिनों से कारखानों में घूमकर संचालकों को आलू के छिलके व स्टाॅर्च को वहीं रोकने की समझाइश दे रहा था लेकिन कोई मानने को तैयार नहीं था। सिर्फ जो बड़े कारखानें हैं पालन कर रहे थे। इसी कारण हम स्टाॅप डेम की मरम्मत सहित रूट बेड सिस्टम पर भी काम नहीं कर पा रहे थे ताकि दूषित पानी आगे जाने से रोका जा सके।
संभागायुक्त-कलेक्टर ने किया था निरीक्षण, सीएम ने भी की थी प्रशंसा
जनवरी माह में एक जिला एक उत्पाद में इंदौर जिले से आलू चिप्स कारोबार को भी चयनित किया गया। और उस समय संभागायुक्त पवन शर्मा व कलेक्टर मनीष सिंह ने कोदरिया में आलू चिप्स कारखानों का निरीक्षण किया था। कारोबार में इजाफा व ट्रीटमेंट प्लांट तैयार करने को लेकर कारखाना संचालकों से जनभागीदारी राशि जमा करने की बात कही थी। और सीएम ने भी आलू चिप्स इंडस्ट्रीज को बढ़ावा देने हेतु मार्केट लिंकेज को लेकर प्रशासन के प्रयास की प्रशंसा की। लेकिन बाद में प्रशासन की ओर से यहां प्रदूषण रोकने व स्वच्छ माहौल में चिप्स तैयार करने की व्यवस्था को लेकर कोई ठोस प्रयास नहीं किए। ये ही समस्या इस कारोबार में सबसे बड़ी अड़चन है और इसी को दूर करने पर ध्यान नहीं दिया जा रहा है।

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