बच्चें को रोता देख स्टेशन पर बैठी एक बुजुर्ग महिला से देखा नही गया। उसने उसे अपना बच्चा समझकर गोद में उठा लिया। साथ ही वह महिला अस्पताल बच्चें के साथ पहुंची। खबर लगते ही बालक को गोद लेने वालों की कतार लग गई। बीएमओ डॉ.ए.के. अग्रवाल ने कहा सबसे पहले बच्चें को जिला अस्पताल रेफर किया जाएगा। वहां मेडिकल देखरेख में रहेगा उसके बाद कलेक्टर के माध्यम से नवजात बच्चे को लेकर आगे की कार्यवाही होगी।
तत्काल जीआरपी ड्यूटी दल को घटना की जानकारी दी गई। जीआरपी एएसआई आरडी गौतम ने बताया बच्चा करीब 5 माह का है। उसे आरक्षक शुभम, चंदन के द्वारा सरकारी अस्पताल पहुंचाया गया है।
पूरे मामले में छिंदवाड़ा जिले की आदिवासी मजदूर बुजुर्ग महिला चेतो बाई ने अपनी मजदूरी छोड़ इस बच्चे को अपने संरक्षण में रखा। कई महिलाओं ने अस्पताल में बच्चे को अपना दूध पिलाया। महिलाये उस माँ को कोसती दिखी जो अंधेरी रात में रेलवे स्टेशन पर लावारिस हालत में मासूम को छोड़ कर चली गई। उधर सूचना मिलते ही सीडब्ल्यूसी चाइल्ड हेल्प लाइन से खूशिश बंसल भी सरकारी अस्पताल पहुंचे और बच्चे को चाइल्ड हेल्पलाइन सेंटर ले जाने के लिए बीएमओ से बातचीत की। बीएमओ डॉ ए के अग्रवाल ने बताया 5 माह का मेल शिशु है पूर्ण स्वस्थ है लेकिन जिला स्वास्थ्य विभाग भेजा जाएगा ताकि चाइल्ड स्पेशलिस्ट इसकी पूरी तरह जांच करें और उसे अपनी निगरानी में रखें।