ज्योतिषाचार्य गुलशन अग्रवाल अंक 02- जमीनों के कामकाज में अत्यधिक तेजी मंदी का रुख निर्णय लेने की स्थिति में अड़चनों का कारण बनेगा। अल्प समय में व्यापार में तरक्की मन में उत्साह को बरकरार रखेगी। अंक 03- साझेदारी के व्यवसाय में हिसाब-किताब में बरती गई लापरवाही चोट दे सकती है। संबंधों को खराब कर सकती है। कार्य स्थल पर मिले सहयोग में अचानक कमी आ सकती है।अंक 04- जोखिम के कार्यों में लापरवाही से बड़ा नुकसान उठाना पड़ सकता है। युवावर्ग को एकलाचलो के स्थान पर सामुहिक प्रयासों से काम करने की भावना को अपनाना होगा। अंक 05- एक दूसरे की मदद करने का भाव मित्रों के मध्य संबंधों को ओर मजबुती प्रदान करेगा। बड़ी योजना के बजाए छोटे बजट की योजनाओं में निवेष के परिणाम सकारात्मक रहेंगे। अंक 06- कनिष्ठ सहयोगियों के असहयोग के कारण नई योजनाओं के ओर लंबा खिंचने के आसार बनते हैं। अतिरिक्त लाभ को बचत योजनाओं में लगाना भविष्य के लिए हितकर रहेगा।अंक 07- मंदी के दौर में पहले से चल रहे कार्यों को पूर्ण करने का प्रयास करें। नये कामकाज में सोच समझकर आगे बढ़ें। निर्णय लेने की स्थिति से बचने की कोशिश करें। अंक 08- परिवार का आपस में प्रेम बाहर की परेशानियों से लड़ने में एक अदृष्य बल प्रदान करेगा। बच्चों को मिली सफलता से स्वयं को अपना भविष्य सुरक्षित नजर आएगा। अंक 09- भुमि-भवन के कामकाज में नई योजनाओं में पैसा फंसाने के बजाए पहले से चल रही परियोजना को पूरा करने में ध्यान लगाएं। प्रतिभा दिखाने के बहुत से अवसर आएंगे। [typography_font:14pt;” >अनुकूलता के लिए- अपने से कनिष्ठ व्यक्ति को सामर्थ्य अनुसार उपहार दें।