शादी थी 27 फरवरी को , कार्ड पर छप गया 26 फरवरी हमीरपुर जिले के सिकरोढ़ी गांव निवासी स्व.रामफल अनुरागी की पुत्री रेखा की शादी सदर कोतवाली के पारा पुरवा गांव के बेटाराम के साथ तय हुई थी। शादी की तारीख 27 फरवरी रखी गई थी। लेकिन गलती से कार्ड में 26 तारीख छपने से लड़के वाले बारात लेकर पहुंच गए।बेटाराम की भाभी कौशल्या ने बताया कि कार्ड छपाई में 27 की जगह 26 फरवरी की तारीख छप गई. उनके घर में कोई ज्यादा पढ़ा-लिखा नहीं था। इसलिए किसी ने तारीख पर गौर नहीं किया और नाते-रिश्तेदारों को कार्ड बांट दिए गए।
तय तिथि से पूर्व ही रिश्तेदारों का आना हो गया और 26 फरवरी को वह लोग बारात लेकर सिकरोढ़ी गांव पहुंच गए। वहां पहुंचने के बाद उन्हें पता चला कि शादी की तारीख 27 फरवरी रखी गई थी। अचानक बारात के आने पर गांव वालों ने सारी व्यवस्था करने में हमारी बहुत मदद की।
शादी के एक दिन पहले पहुंची बारात
शादी के एक दिन पहले दरवाजे पर बारात देखकर लड़की वाले भी हैरान और परेशान हो गए। गांव निवासी अशोक कुमार पांडेय ने बताया कि रेखा के पिता की मौत हो चुकी है। बारात एक दिन पहले आई तो सारा कार्यक्रम बिगड़ने लगा।
लेकिन गांव के सभी लोगों ने मिलकर मदद की। रातों-रात बारात के स्वागत-सत्कार की तैयारियां की गई। हलवाई लगाकर भोजन तैयार कराया गया।इसके बाद द्वारचार और जयमाल आदि की रस्में भी हुई। मंगलवार की सुबह भांवरें पड़ी और शाम होते-होते रेखा को हंसी-खुशी विदा कर दिया गया।इससे दोनों पक्ष संतुष्ट नजर आए और गांव का भी मान-सम्मान बच गया।