पीडि़ता ने पुलिस को बताया कि शांति निकेतन मोतीलाल रोड, हजीरा में बचपन से रही है। आश्रम की पहली मंजिल पर लड़कियों को रखा जाता है जबकि ग्राउंड फ्लोर पर वृद्धाश्रम है। उसमें रहने वाले विमल चंद जैन ने उसका कई साल तक शारीरिक शोषण किया। विमल मौका पाकर अक्सर पहली मंजिल पर आ जाता और अश्लील हरकतें करता। पीडि़ता को थाने लेकर पहुंची काउंसर ज्योति गर्ग ने पुलिस को बताया कि विमलचंद का घर ग्वालियर में है। उसकी शादी नहीं हुई है। करीब 10 साल से वूद्धाश्रम में रहता है। महिला बाल विकास की टीम आश्रम में बच्चियों की काउंसिलिंग के लिए ले जाती है। इसलिए विमल के बारे में जानकारी है। जब तक वह शांति निकेतन में रही उसने विमल के बारे में कुछ नहीं बताया। आश्रम में 18 साल तक की उम्र की लड़कियों को ही रखा जाता है। करीब 6 महीने पहले पीडि़ता 18 साल की उम्र पार कर गई तो उसे दूसरे आश्रम में शिफ्ट किया गया। वहां पहुंचने के बाद कुछ दिन पहले काउंसर तब्बसुम के साथ वहां गई तो पीडि़ता ने बरसों से शारीरिक शोषण का खुलासा किया। उसने बताया कि विमलचंद कई साल से उसका शारीरिक शोषण करता रहा है।
काउंसिलिंग पर सवाल
आश्रम के अंदर पीडि़ता के साथ दुष्कर्म का मामला सामने आने के बाद आश्रम की लड़कियों पर सुरक्षा पर सवाल खड़े हो गए हैं। क्योंकि महिला बाल विकास के अधिकारी ऐसे आश्रम और संस्थाओं में निगरानी और वहां रहने वाली लड़कियों की लगातार काउंसिलिंग का दावा करते हैं। लेकिन सवाल उठता है कि शांति निकेतन में मंदबुद्धि लडक़ी के साथ वहां रहने वाला बुजुर्ग कई साल तक उसका शारीरिक शोषण करता रहा और वहां लगातार काउंसिलिंग के लिए जाने वाली टीम को पता तक नहीं चला। आश्रम में पीडि़ता के अलावा और भी कई लड़कियां थीं। इन लड़कियों की निगरानी करने वालों को घटना का आभास तक नहीं हुआ।
संचालक का भरोसेमंद
पुलिस के मुताबिक आरोपी विमलचंद दूसरे बुजुर्ग और बच्चों की देखभाल करता था, इसलिए आश्रम संचालक मस्तराम ने उसे कुछ जिम्मेदारियां भी दे रखी थीं। संचालक बाहर जाते तब आश्रम की देखभाल विमल करता था। पीडि़ता का आरोप है कि विमल ऐसे ही वक्त की तलाश में रहता था। मौका मिलते ही उसके पास आकर मनमानी करता था।
इसी आश्रम में छात्रा की हत्या
शांति निकेतन आश्रम में इससे पहले यहां रहने वाली लडक़ी की हत्या भी हो चुकी है। उसे परिजन ने ही आश्रम के अंदर घुसकर चाकू घोंपकर मार डाला था। उसके बाद प्रशासन और आश्रम संचालक ने यहां रहने वाली लड़कियोंं की सुरक्षा के लिए कड़ेे इंतजाम करने के दावे किए थे। उसके बावजूद आश्रम का सदस्य विमल यहां रहने वाली लडक़ी का शारीरिक शोषण करता रहा।
एनजीओ की साजिश
पुलिस के मुताबिक आश्रम संचालक मस्तराम से भी इस बारे में पूछताछ की जाएगी। हालांकि मामला सामने आने के बाद आश्रम संचालक इसे एनजीओ की साजिश बता रहे हैं। उनका कहना है कि पीडि़ता के साथ आश्रम में शारीरिक शोषण हो रहा था तो उसकी शिकायत उनसे भी कर सकती थी। लेकिन उसने कभी अपने साथ हो रही ज्यादती के बारे में नहीं बताया।
पीडि़ता को महिला बाल विकास की काउंसलर साथ लेकर आई थीं, पीडि़ता ने आश्रम में रहने वाले बुजुर्ग पर शारीरिक शोषण का आरोप लगाया है। आरोपी पर दुष्कर्म और पॉक्सो एक्ट के तहत केस दर्ज किया है। घटना की जांच की जाएगी।
आलोक सिंह परिहार हजीरा टीआई
पीडि़ता को कुछ महीने पहले दूसरे आश्रम में शिफ्ट किया गया था। कुछ दिन पहले उसने काउंसिलिंग में घटना का खुलासा किया। उसने जो बातें बताई उनकी तस्दीक के बाद ही पुलिस को घटनाक्रम बताया गया है।
ज्योति गर्ग महिला बाल विकास अधिकारी, काउंसलर