हिमा ने तीसरा स्वर्ण पदक महिलाओं की 200 मीटर दौड़ में जीता है। उन्होंने यह दूरी महज 23.43 पूरी कर गोल्ड अपने नाम कर लिया। यह गोल्ड उन्होंने कलांदो मेमोरियल एथेलेटिक्स में जीता है।
भारत की इस बेटी ने इस इवेंट में 2 जुलाई को 200 मीटर रेस में जीता था। तब उन्होंने यह दूरी 23.65 सेकेंड में पूरी की थी। इसके बाद दूसरा गोल्ड भी उन्होंने महज 23.97 सेकंड में पूरी करते हुए जीता था। वर्ल्ड जूनियर चैम्पियन हिमा का सर्वश्रेष्ठ व्यक्तिगत समय 23.10 सेकेंड है, जो उन्होंने पिछले साल बनाया था।
बता दें कि हिमा पिछले कुछ महीनों से पीठ दर्द से परेशान रही थी और इस दर्द के बाद उन्होंने फिर से दमदार वापसी की है। गौरतलब है कि हिमा दास का जन्म 9 जनवरी 2000 को असम राज्य के नागाव जिले के ढिंग में हुआ था। हिमा के पिता रोंजित दास किसानी करते हैं, जबकि माताजी जोमाली दास गृहिणी हैं। कुल 16 सदस्यों के घर में आर्थिक हालात शुरू से ही खराब रहे। बस किसी तरह खाने-पीने की व्यवस्था हो जाती है। परिवार में हिमा और उनके माता-पिता के अलावा 5 भाई और बहन हैं। हिमा ने अपनी शुरुआती पढाई गांव से ही की। खेलों में रुचि होने और पैसों की तंगी के चलते हिमा अपनी पढ़ाई जारी नहीं रख सकीं।