हरियाणा और दिल्ली की तुलना की
जयहिंद ने कहा कि हरियाणा में जहां 200 यूनिट तक बिजली की दर 2.50 रूपए प्रति यूनिट है, तो दिल्ली में 200 यूनिट तक एक रूपए प्रति यूनिट है। हरियाणा में जहां 400 यूनिट तक 4.27 रूपए प्रति यूनिट बिजली दर है तो दिल्ली में 400 यूनिट तक 2 रूपये प्रति यूनिट दर है। उन्होंने कहा कि जहां हरियाणा में 8 से 10 घंटे बिजली आती है वहीं दिल्ली में 24 घंटे बिजली आती है। दिल्ली में एक घंटा बिजली जाने पर उपभोक्ता को 50 रूपए प्रति घंटे के हिसाब से हर्जाना मिलता है।
नहीं मिलता हरियाणा के बिजली उपभोक्ता को फायदा
जयहिंद ने कहा कि दिल्ली में बिजली का बिल एक महीने में आता है, जिससे जनता को स्कीम का पूरा लाभ मिलता है, वहीं हरियाणा में 2 महीने में बिजली का बिल आता है जिससे जनता को बिजली दरों में रियायत का कोई फायदा नही होता। प्रदेश में बिजली से ज्यादा बिल आते हैं। उन्होंने दावा किया है कि केजरीवाल के डर से खट्टर सरकार ने बिजली के दाम कम किए हैं।
दिया एक महिने का अल्टीमेटम
जयहिंद ने कहा कि आम आदमी पार्टी खट्टर सरकार को एक महीने का समय देती है कि हरियाणा की जनता को दिल्ली के बराबर सस्ती बिजली दे। इसके अलावा हर महीने बिजली का बिल आए और 24 घंटे बिजली रहे नहीं तो पूरे प्रदेश में गावं -गावं जाकर आम आदमी पार्टी “बिजली बिल फूकों” आन्दोलन करेगी।
सीएम व वित्त मंत्री को घेरा
जयहिंद ने कहा कि मुख्यमंत्री खट्टर व वित मंत्री द्वारा अपने ट्विटर व फेसबुक अकाउन्ट पर दिल्ली से सस्ती बिजली देने की गलत जानकारी पोस्ट की गई है। वे इस पर जनता से माफी मांगें, क्योकि हरियाणा में दिल्ली से सस्ती बिजली नहीं है। सिर्फ झूठ फैला कर जनता को गुमराह किया जा रहा है। नवीन जयहिंद ने कहा कि जिस तरह दिल्ली में केजरीवाल सरकार बिजली कट पर बिजली कम्पनियों पर पेनल्टी लगाती है और उपभोक्ता को 50 रूपए प्रति घंटे के हिसाब से कंपनी भुगतान करती है, उसी तरह खट्टर सरकार हरियाणा में भी ये स्कीम लागू करे व प्रदेश के उपभोक्ता को बिजली कट होने पर 50 रूपए प्रति घंटे के हिसाब से भुगतान कराए।