प्रभारी संयोजक ने गुरुवार से कार्यालय में अपना काम भी शुरू कर दिया है। पूर्व संयोजक परिहार पर महिला अधीक्षक ने छेड़छाड़ का आरोप लगाया था। कैंट थाने में एफआईआर दर्ज की गई। इसमें एक अधीक्षक को जेल भी जाना था। संयोजक लंबे समय तक गुना से गायब रहे और बाद में सुप्रीम कोर्ट से राहत लेकर संयोजक के पद पर आसीन हो गए।
जिस अधीक्षक को सस्पेंड किया, उनके दस्तावेज गायब…
उधर, पूर्व संयोजक परिहार ने अधीक्षक जय सिंह श्रत्रिय को सस्पेंड कर दिया। वर्ष 2008 में ऊमरी में अंग्रेजी माध्यम का आश्रम खोला गया था, उसमें बच्चों को भर्ती किया था, लेकिन बच्चों का स्तर बेहतर नहीं होने से उनको एलकेजी में भर्ती कराने के आदेश दिए गए।
इसी मामले में श्रत्रिय को सस्पेंड कर दिया था। इस मामले की निरीक्षण पंजी कार्यालय से गायब हो गई है। इससे कार्रवाई करने वालों की मुसीबत बढ़ सकती हैं।
हमेशा चर्चा में रहते है आरएस परिहार….
इसके पहले भी ऊमरी रोड पर आदिम जाति कल्याण विभाग के छात्रावास अधीक्षक पीसी करोलिया ने शिकायत की थी कि जिला संयोजक आरएस परिहार कुछ दिन पहले छात्रावास का निरीक्षण किया था और दो चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों को निलंबित किया था । साथ ही 2 मौखिक आदेश देकर 2 मजदूर मैस व्यवस्था के रिक्त पद पर रखने को कहा था। कर्मचारियों का कोई पेमेंट नहीं दे रहे थे। अन्य किसी के मोबाइल से फोन लगाकर मुझे ही निलंबित करने की धमकी दे रहे थे।
बंगले पर बुलाते थे….
इतना ही नहीं जिला संयोजक आरएस परिहार पर उनके ही विभाग की एक महिला ने एक नहीं कई गंभीर आरोप लगा चुकी है। इसके साथ ही उनके विरुद्ध कैंट पुलिस थाने में मुकदमा कायम करा दिया था। उनका आरोप है कि परिहार मुझे अपने बंगले पर बुलाते थे और मेरे साथ अश्लील बातें करते थे। उन्होंने इसकी शिकायत महिला आयोग आदि से भी की है।